सुप्रीम कोर्ट ने आज किसानों के प्रदर्शन पर सख्त टिप्पणी की है जिसके बाद भारतीय किसान यूनियन ने कहा है कि सड़क पर अवरोधक दिल्ली पुलिस ने लगाया है हमने रोड जाम नहीं किया है.
भारतीय किसान यूनियन ने इस बात को खारिज कर दिया कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद किसान गाजीपुर बार्डर खाली कर रहे हैं. किसान यूनियन ने पीटीआई को बताया कि हम सुप्रीम कोर्ट के आदेश का सम्मान करते हैं. हम यह भी स्पष्ट करना चाहते हैं कि दिल्ली पुलिस ने प्रदर्शन स्थल पर अवरोधक लगाये हैं. हम यह भी मांग करते हैं कि दिल्ली पुलिस को अब उन्हें जनता के कल्याण के लिए हटा देना चाहिए.
गौरतलब है कि आज सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि जस्टिस एसके कौल और जस्टिस एमएम सुंदरेश की पीठ ने कहा कि किसानों को प्रदर्शन करने का अधिकार है लेकिन वे अनिश्चितकाल तक सड़क जाम नहीं कर सकते. कोर्ट ने कहा कि किसानों को आंदोलन करने का अधिकार है लेकिन इस तरह से सड़कें बाधित नहीं की जा सकतीं. लोगों को सड़क पर चलने का अधिकार है और इसे नहीं रोका जाना चाहिए.
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सुप्रीम कोर्ट ने नोएडा निवासी मोनिका अग्रवाल की जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए यह टिप्पणी की है. मोनिका अग्रवाल ने अपनी शिकायत में कहा है कि प्रदर्शनकारी किसानों द्वारा सड़क जाम करने से रोज आने-जाने में विलंब होता है. अदालत ने जनहित याचिका पर किसान संगठनों को तीन हफ्ते के अंदर जवाब देने का भी निर्देश दिया है.
Posted By : Rajneesh Anand