दो दिन के लिए भारत दौरे पर आये अमेरिका के उप राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार दलीप सिंह ने भारत को एक वार्निंग दी है. दलीप सिंह ने कहा है कि, रूस पर लगाए गए प्रतिबंधों के खिलाफ जाकर अगर कोई देश उससे लेनदेन बढ़ाएगा तो उसे भी गंभीर परिणाम भुगतने होंगे. उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि अमेरिका को पसंद नहीं होगा की भारत पूस के साथ व्यापार साझा बढ़ाए.
भारत की दी गंभीर चेतावनी: अमेरिका के उप राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार दलीप सिंह ने भारत को गंभीर चेतावनी देते हुए कहा कि अगर चीन एलएसी लांघता है तो रूस चीन के खिलाफ भारत की मदद को आगे नहीं आएगा. दलीप सिंह ने कहा कि अगर भारत रूस से ऊर्जा खरीदता है तो फिलहाल यह अमेरिकी प्रतिबंध का हिस्सा नहीं है, लेकिन भारत को रूस पर अपनी निर्भरता कम करनी होगी.
उप राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार दलीप सिंह ने यह भी कहा कि अमेरिका किसी भी देश को रूसी केंद्रीय बैंक के साथ वित्तीय लेनदेन में शामिल होते नहीं देखना चाहेगा. उन्होंने कहा कि, भारत का रूसी ऊर्जा का मौजूदा आयात अमेरिका के किसी प्रतिबंध का उल्लंघन नहीं है. क्योंकि अमेरिका ने रूस से ऊर्जा की आपूर्ति को छूट दे रखी है. उन्होंने यह भी कहा कि, अमेरिकी अपने सहयोगियों को ‘गैर भरोसेमंद आपूर्तिकर्ता’ पर निर्भरता कम करने की दिशा में प्रयास में है.
डिप्टी एनएसए दलीप सिंह ने चीन को लेकर भी भारत को चेतावनी दी है. उन्होंने कहा कि हिन्द प्रशांत क्षेत्र के लिए चीन एक बड़ा खतरा है. इसके अलावा रूस ने चीन को अपना सबसे अहम रणनीतिक साझेदार करार दिया है. उन्होंने कहा कि भारत के लिए भी चीन खतरा है. अगर चीन एलएसी को लांघने का कोशिश करता है तो रणनीतिक साझेदार होने के कारण रूस भारत की मदद को आगे नहीं आएगा.
इधर, संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी प्रतिनिधि रहे सैयद अकबरूद्दीन ने अमेरिकी डिप्टी एनएसए दलीप सिंह के बयानों की निंदी की है. उन्होंने कहा कि, उन्होंने एक ट्वीट लिखकर कहा है कि, डिप्टी एनएसए दलीप सिंह भाषा दोस्त से ज्यादा जबरदस्ती की लग रही है.