तालिबान जैसे शासन कर रही ममता, BJP बंगाल अध्यक्ष दिलीप घोष बोले- ‘उन्हें संविधान की फिक्र नहीं’
बंगाल हिंसा की जांच सीबीआई से कराने पर सियासी बवाल भी मचा हुआ है. टीएमसी नेता सौगत रॉय ने कलकत्ता हाईकोर्ट के फैसले पर दुख जताते हुए उच्चतम न्यायालय में जाने की बात कही है. बंगाल बीजेपी अध्यक्ष दिलीप घोष (Dilip Ghosh) ने ममता बनर्जी पर हमला किया है.
पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव (West Bengal Post Poll Violence) के नतीजों के बाद हुई हिंसा की जांच का जिम्मा सीबीआई (CBI Probe) को सौंप दिया गया है. कलकत्ता हाईकोर्ट (Calcutta High Court) के फैसले के बाद सीबीआई ने चार टीमों का गठन भी कर दिया है. इसी बीच बंगाल हिंसा की जांच सीबीआई से कराने पर सियासी बवाल भी मचा हुआ है. टीएमसी नेता सौगत रॉय ने कलकत्ता हाईकोर्ट के फैसले पर दुख जताते हुए उच्चतम न्यायालय में जाने की बात कही है. बंगाल बीजेपी अध्यक्ष दिलीप घोष (Dilip Ghosh) ने ममता बनर्जी पर हमला किया है.
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न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए पश्चिम बंगाल बीजेपी के अध्यक्ष दिलीप घोष ने सीएम ममता बनर्जी को तालिबान की तरह शासन चलाने वाला कहा है. पश्चिम बंगाल बीजेपी के अध्यक्ष दिलीप घोष ने कलकत्ता हाईकोर्ट के आदेश पर कहा- ‘यह पहली बार नहीं हुआ है, जब कोर्ट ने सीबीआई जांच के आदेश दिए हैं. इसके पहले भी नारद और सारदा केस में कोर्ट ने सीबीआई जांच के आदेश दिए थे. लेकिन, टीएमसी ने हमेशा संविधान का मखौल उड़ाया है. टीएमसी को संविधान की फिक्र नहीं है. ममता बनर्जी और तृणमूल कांग्रेस की सोच तालिबान की तरह ही है. अगर कोई फैसला उनके पक्ष में नहीं आता है तो वो उस फैसले को स्वीकार ही नहीं करते हैं.’
It's not the first time that a CBI probe has been ordered by Court. Inquiry also ordered in cases like Narada, Saradha. TMC always disobeys Constitution. They have the Taliban-like attitude. If a judgment is not in their favour,they don't accept it: Dilip Ghosh, WB BJP chief pic.twitter.com/tzXVdABRMg
— ANI (@ANI) August 20, 2021
पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव के नतीजों के बाद हुई हिंसा की जांच सीबीआई के हवाले किया गया है. गुरुवार को कलकत्ता हाईकोर्ट ने इस मामले में फैसला सुनाते हुए हिंसा, रेप और हत्या की जांच का जिम्मा सीबीआई को दिया था. कलकत्ता हाईकोर्ट ने एसआईटी के गठन के निर्देश भी दिए थे, जिसमें बंगाल पुलिस के सीनियर अधिकारियों को शामिल करने को कहा है. आदेश के बाद सीबीआई ने संयुक्त निदेशक के नेतृत्व में चार टीमों का गठन भी कर दिया है. बताया जाता है कि इस पूरी जांच की निगरानी अतिरिक्त निदेशक रैंक के अधिकारी करेंगे. प्रत्येक टीम में सात सदस्य शामिल किया जाएगा, जिनमें एक उप महानिरीक्षक और तीन एसपी को रखा जाएगा.