ब्रिटिश PM बोरिस जॉनसन का दो दिवसीय भारत दौरा, बुलडोजर प्लांट का करेंगे उद्घाटन, जानिए पूरा कार्यक्रम
ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन आज से दो दिवसीय भारत यात्रा पर हैं. गुरुवार सुबह वो अहमदाबाद एयरपोर्ट पहुंचे जहां गुजरात के सीएम भूपेंद्र भाई पटेल ने उनका स्वागत किया. आज उन्होंने बुलडोजर प्लांट का उद्घाटन किया. शुक्रवार को जॉनसन पीएम मोदी से मुलाकात करेंगे.
ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन (British PM Boris Johnson) आज यानी गुरुवार 21 अप्रैल को अपने दो दिवसीय दौरे पर भारत पहुंच गए हैं. गुरुवार सुबह साढ़े 8 बजे अहमदाबाद एयरपोर्ट पर उनके विमान ने लैंड किया. गुजरात के सीएम भूपेंद्र भाई पटेल ने एयरपोर्ट पर बोरिस जॉनसन का स्वागत किया है. फिलहाल वो होटल हयात में ठहरे हैं. रूस-यूक्रेन युद्ध के बीच बोरिस जॉनसन का यह दौरा काफी अहम माना जा रहा है.
बुलडोजर बनाने वाली यूनिट का करेंगे उद्घाटन
भारत दौरे के दौरान ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन बुलडोजर के प्लांट का उद्घाटन (bulldozer plant inauguration) करेंगे. जॉनसन गुजरात के वडोदरा स्थित हलोल में बुलडोजर बनाने वाली यूनिट का उद्घाटन करेंगे. इससे पहले जॉनसन उद्योगपति गौतम अडानी से भी मुलाकात करेंगे. ये यूनिट ब्रिटिश मूल की कंपनी जेसीबी का है, जो बुलडोजर समेत कंस्ट्रक्शन क्षेत्र के दूसरे उपकरण बनाती है. वहीं, ये जेसीबी का भारत में छठा प्लांट होगा.
पीएम मोदी से करेंगे बोरिस जॉनसन मुलाकात
वहीं, शुक्रवार को बोरिस जॉनसन नई दिल्ली में राष्ट्रपति भवन में स्वागत समारोह में शामिल होंगे. वो महात्मा गांधी की समाधि राजघाट पर बापू को पुष्पांजलि भी अर्पित करेंगे. शुक्रवार को पीएम मोदी और जॉनसन के बीच मुलाकात होगी. इस दौरान दोनों नेताओं के बीच कई मुद्दों पर बातचीत होगी. जिसमें मुक्त व्यापार समझौता, हिंद-प्रशांत क्षेत्र की सुरक्षा और आतंकवाद से जुड़े मुद्दे मुख्य रूप से शामिल रहेंगे. इसके अलावा ब्रिटेन पीएम बोरिस जॉनसन भारतीय विदेश मंत्री एस जयशंकर के साथ भी मुलाकात करेंगे.
अहम माना जा रहा ब्रिटिश पीएम का भारत दौरा
गौरतलब है कि ब्रिटिश पीएम का भारत दौरा उस समय हो रहा है जब यूक्रेन और रूस के बीच घमासान छिड़ा हुआ है. यूरोप और अमेरिका ने रूस पर कई प्रतिबंध लगाए हैं. हालांकि, रूस को लेकर भारत ने शुरू से ही अपना रुख साफ कर दिया है. भारत ने साफ तौर पर कहा है कि रूस भारत का पुराना दोस्त है. कई जरूरतों के लिए दोनों देश एक-दूसरे पर निर्भर करते हैं. ऐसे में भारत अपनी दोस्ती को दांव पर नहीं लगाएगा.