हिमाचल में बीजेपी का अंतर्कलह, कृपाल परमार ने दिया पार्टी उपाध्यक्ष पद से इस्तीफा, कहा- हो रही थी उपेक्षा
उपचुनाव में फतेहपुर विधानसभा से टिकट नहीं मिलने पर लगातार नाराज चल रहे कृपाल परमार ने इस्तीफा दे दिया है. इस्तीफा देने के बाद उन्होंने कहा कि पार्टी में उनकी उपेक्षा हो रही थी.
हिमाचल प्रदेश में बीजेपी के अंदर अंतर्कलह की बात सामने आई है. पूर्व राज्यसभा सांसद कृपाल परमार ने बीजेपी के प्रदेश उपाध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया है. दरअसल बताया जा रहा है कि उपचुनाव में फतेहपुर विधानसभा से टिकट नहीं मिलने पर वो लगातार नाराज चल रहे थे. परमार ने यह इस्तीफा उपचुनाव में हार पर समीक्षा के लिए बीजेपी की प्रदेश कार्यसमिति की बैठक शुरू होने से ठीक एक दिन पहले दिया है. इस बैठक में उन्हें भी भाग लेना था. इस्तीफा देने की बात कृपाल परमार ने फेसबुक पर पोस्ट की है.
वहीं, न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए भाजपा के वरिष्ठ नेता कृपाल सिंह परमार ने कहा कि “पिछले कुछ सालों से पार्टी में मेरी उपेक्षा की जा रही थी।” वहीं, इस बीच खबर ये भी है कि भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सुरेश कश्यप ने उनका इस्तीफा अब तक स्वीकार नहीं किया है.
बता दें कि हिमाचल प्रदेश में हाल ही कांगड़ा जिले के फतेहपुर विधानसभा सीट पर उपचुनाव हुआ था. इसमें परमार की जगह बीजेपी ने बलदेव ठाकुर को मैदान में उतारा था. जिसके बाद वह निर्दलीय के रूप में चुनाव लड़ने वाले थे, हालांकि मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर के समझाने के बाद उन्होंने निर्दलीय के रूप में चुनाव नहीं लड़ा था, लेकिन चुनाव प्रचार से दूर रहे थे.
वहीं, फेसबुक पोस्ट किए गए इस्तीफा पत्र में उन्होंने लिखा है कि, ” मैं, कृपाल परमार, उपाध्यक्ष, हिमाचल भाजपा, पार्टी के पद से अपना इस्तीफा भेज रहा हूं. कृप्या इसे स्वीकार करें. मैं अलग-अलग पत्रों में इसका कारण बताउंगा.”
बता दें कि परमार पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल के बेहद करीबी माने जाते हैं. परमार 2002 से 2006 तक राज्यसभा सदस्य रहे और उन्हें कांगड़ा के सबसे बड़े बीजेपी नेताओं में से एक माना जाता है.उन्होंने राज्य के महत्वपूर्ण मंत्रालय राज्य परिवहन निगम के उपाध्यक्ष के रूप में काम किया है.