Loading election data...

तमिलनाडु के कुन्नूर में हादसे का शिकार हुआ MI 17 v 5 माना जाता है सबसे सुरक्षित, 26/11 में भी हुआ था इस्तेमाल

तमिलनाडु के कुन्नूर में एक बड़ा हासदा हुआ है. कुन्नूर में वायुसेना का एक हेलीकॉप्टर एमआई 17 वी 5 (MI 17 v 5) दुर्घटनाग्रस्त हो गया है. आपको बता दें एमआई 17 वी 5 को सबसे सुरक्षित विमानों में से एक समझा जाता है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 8, 2021 4:31 PM
an image

तमिलनाडु के कुन्नूर में एक बड़ा हादसा हुआ है. कुन्नूर में वायुसेना का एक हेलीकॉप्टर एमआई 17 वी 5 (MI 17 v 5) दुर्घटनाग्रस्त हो गया है, खबरों की मानें तो हेलिकॉप्टर में सीडीएस बिपिन रावत, उनकी पत्नी समेत कई कर्मचारी सवार थे. हेलीकॉप्टर में कुल 14 लोगों के सवार होने की खबर है. जिनमें तीन लोगों का रेस्क्यू किया गया है, वहीं,4 लोगों की मौत की पुष्टि हुई है. आपको बता दें कि अचानक दुर्घटना ग्रस्त हुए इस विमान को रूस से मंगाया गया है. खासतौर पर एमआई 17 वी 5 (MI 17 v 5) विमान को काफी सुरक्षित समझा जाता है. इसके बावजूद विमान का क्रैश करना अपने आप में बड़ा सवाल है. तो आइए जानते हैं कि सुरक्षित मानें जाने वाले इस विमान की खासियत क्या है?

26/11 में हुआ था इस्तेमाल

वायुसेना का एमआई 17 वी 5 कई आधुनिक तकनीकों के साथ बनाया गया है. इसका इस्तेमाल सेना के कई महत्वपूर्ण अभियानों में हुआ है. वहीं, 26/11 में भी कमांडो ऑपरेशन में इसका इस्तेमाल हुआ था. 2008 के मुंबई आतंकी हमले के दौरान एनएसजी कमांडो को इसी हेलिकॉप्टर के जरिए कोलाबा में आतंकियों के खिलाफ उतारा गया था. इसके अलावा 2016 में जम्मू-कश्मीर में सीमा पर पाकिस्तानी लॉन्च पैड को तबाह करने के लिए भी इसका इस्तेमाल हुआ है. फिलहाल भारत के पास 150 से ज्यादा एमआई 17 वी5 हेलिकॉप्टर्स हैं. आखिरी विमान 2016 में रूस ने भारत को सौंपा था.

Mi-17V-5 दुनिया का सबसे उन्नत विमानों में से एक

इंडियन आर्मी की आधिकारिक बेवसाइट के अनुसार Mi-17V-5 (घरेलू नाम Mi-8MTV-5) हेलीकॉप्टरों के Mi-8/17 परिवार में एक सैन्य परिवहन संस्करण है. इस रूसी हेलीकॉप्टरों को सहायक कंपनी कज़ान हेलीकॉप्टर ने बनाया है. केबिन के अंदर और बाहरी स्लिंग पर कार्गो परिवहन के लिए डिज़ाइन किया गया. Mi-17V-5 दुनिया के सबसे उन्नत परिवहन हेलीकाप्टरों में से एक है. इसे ट्रूप और आर्म्स ट्रांसपोर्ट, फायर सपोर्ट, काफिले एस्कॉर्ट, पेट्रोल और सर्च-एंड-रेस्क्यू (SAR) मिशनों में भी तैनात किया जा सकता है. आपको बता दें कि 2013 के फरवरी में एयरो इंडिया शो के दौरान भारतीय रक्षा मंत्रालय ने 12 Mi-17V5 हेलीकॉप्टरों का ऑर्डर दिया था.

कितनी है कीमत?

आपको बता दें कि भारतीय रक्षा मंत्रालय ने 2008 के दिसंबर महीने में 80 विमानों के लिए रूस के साथ 1.3 अरब डॉलर का अनुबंध हुआ था. इसकी आपूर्ति भारतीय वायु सेना को 2011 में शुरू हुई थी. हेलीकॉप्टर का अधिकतम टेकऑफ़ वजन 13,000 किलोग्राम है. यह 36 सशस्त्र सैनिकों को आंतरिक रूप से 4,500 किलोग्राम भार ले जा सकता है.

क्या है खासियत

एमआई-17वी-5 मीडियम लिफ्टर को एमआई-8 के आधार पर डिजाइन किया गया है. ये हेलीकॉप्टर उष्णकटिबंधीय और समुद्री जलवायु के साथ-साथ रेगिस्तानी परिस्थितियों में भी उड़ान भरने की क्षमता रखता है. हेलीकॉप्टर का केबिन काफी बड़ा है. इसमें पोर्टसाइड दरवाजा है जो पीछे की तरफ रैंप सैनिकों और कार्गो के आसानी के प्रवेश और निकास की अनुमति देता है. हेलीकॉप्टर को एक विस्तारित स्टारबोर्ड स्लाइडिंग डोर, रैपलिंग और पैराशूट उपकरण, सर्चलाइट, FLIR सिस्टम जैसे कई प्रणालियों से सुसज्जित है.

Exit mobile version