CORBEVAX Booster Dose: भारत में तेजी से कम हो रहे कोरोना संक्रमण के मामलों के बीच कोविड-19 बूस्टर डोज को लेकर एक बड़ी खबर सामने आ रही है. दरअसल, कोरोना को मात देने के लिए भारत को एक और हथियार मिल गया है. कोर्बेवैक्स को कोविड-19 की बूस्टर खुराक के रूप में ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) ने अनुमति दे दी है. वैक्सीन निर्माता कंपनी बॉयोलॉजिकल ई लिमिटेड ने इसकी घोषणा की है.
इससे पहले ही डीसीजीआई ने 28 दिसंबर, 2022 को वयस्कों में आपातकालीन स्थितियों में सीमित उपयोग के लिए और इस साल 9 मार्च को कुछ शर्तों के तहत 12 से 17 वर्ष की आयु वर्ग के लिए कोवोवैक्स को मंजूरी दी थी. बायोलॉजिकल ई के कोर्बेवैक्स का उपयोग 12 से 14 वर्ष की आयु के बच्चों के वैक्सीनेशन के लिए किया जा रहा है.
CORBEVAX gets DCGI nod as a heterologous COVID-19 booster dose, announces Biological E. Limited
— ANI (@ANI) June 4, 2022
बायोलॉजिकल ई. लिमिटेड की मैनेजिंग डायरेक्टर महिमा डाल्टा ने कहा, इस मंजूरी से हम लोग खुश हैं. ये भारत में कोविड-19 बूस्टर डोज की जरूरत को पूरा करेगा. उन्होंने कहा कि हमने अपनी कोविड-19 वैक्सीनेशन यात्रा में एक और मील का पत्थर पार कर लिया है. ये मंजूरी एक बार फिर विश्व स्तर के सतत सुरक्षा मानकों और कॉर्बेवैक्स की उच्च प्रतिरक्षण क्षमता को दर्शाती है.
बताते चले कि हाल ही में बायोलॉजिकल ई. लिमिटेड ने डीसीजीआई को अपना क्लिनिकल ट्रायल डाटा सौंपा था. बाद में डीसीजीआई ने सब्जेक्ट एक्सपर्ट कमिटी के साथ इसका विस्तार से मूल्यांकन और विचार-विमर्श किया. फिर कोविशिल्ड या कोवैक्सिन की दो डोज पहले ही ले चुके लोगों को एक हेट्रो लोगस बूस्टर डोज के रूप में कॉर्बेवैक्स वैक्सीन को लगवाने के लिए अपनी मंजूरी दी. क्लिनिकल ट्रायल डाटा के अनुसार, कॉर्बेवैक्स बूस्टर डोज लगने के बाद इम्यून रिस्पांस में बढ़ोतरी होती है और ये लोगों के लिए सुरक्षित है. कंपनी ने 18 से 80 वर्ष की आयु के 416 सब्जेक्ट पर ट्रायल किया था.