प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बुद्ध पूर्णिमा समारोह में शामिल हुए. दुनिया में कोविड-19 महामारी के प्रभाव के कारण बुद्ध पूर्णिमा समारोह एक वर्चुअल प्रार्थना दिवस के रूप में मनाया जा रहा है. बुद्ध पूर्णिमा के मौके पर पीएम मोदी ने देश के नाम अपने संबोधन में कहा कि वैश्विक महामारी कोरोना संकट काल में भारत बिना स्वार्थ के साथ दुनिया के साथ खड़ा हुआ है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि इस बार परिस्थितियां अलग हैं, दुनिया मुश्किल वक्त से गुजर रही है. आपके बीच आना मेरे लिए सौभाग्य होता, लेकिन मौजूदा स्थिति इसकी इजाजत नहीं देती है. भारत आज बुद्ध के कदमों पर चलकर हर किसी की मदद कर रहा है, फिर चाहे वो देश में हो या फिर विदेश में, इस दौरान लाभ-हानि को नहीं देखा जा रहा है.
I extend my wishes to all on the occasion of Buddha Purnima. Today, situation is such that I can't participate in Buddha Purnima programs physically. It would have been my pleasure to be with you all in the celebrations,but circumstances prevailing today do not permit us: PM Modi pic.twitter.com/5pfrMH7eOU
— ANI (@ANI) May 7, 2020
बुद्ध पूर्णिमा के मौके पर पीएम मोदी ने कोरोना वॉरियर्स को संबोधित करते हुए कहा कि भगवान बुद्ध ने भारतीय संस्कृति को समृद्ध किया. बुद्ध किसी एक परिस्थिति तक सीमि नहीं है. आज समय के साथ हालात बदल गए हैं. वैश्विक महामारी कोरोना संकट काल में बुद्ध पूर्णिमा पर करोना वॉरियर्स के सम्मान में कहा है कि भगवान बुद्ध की सीख प्रासंगिक होगी, अस्पताल से लेकर सड़क तक कई लोग मानवता की सेवा में जुटे हुए हैं. संकट के इस दौर में नागरिकों का जीवन बचाने की पूरी कोशिश की जा रही है, जितना संभव हो मदद का हाथ आगे बढ़ाते रहिए. पीएम मोदी ने कहा कि बुद्ध की तरह ही आज कई लोग सेवा में जुटे हुए हैं. अस्पताल से लेकर सड़क तक कई लोगों मानवता की सेवा में जुटे हुए हैं.
बुद्ध पूर्णिमा के मौके पर पीएम मोदी ने देश के नाम अपने संबोधन में कहा कि भगवान बुद्ध का एक-एक वचन, एक-एक उपदेश मानवता की सेवा में भारत की प्रतिबद्धता को जाहिर करता है. संकट के इस दौर में नागरिकों का जीवन बचाने की पूरी कोशिश की जा रही है. जब दूसरे के लिए करुणा हो, संवेदना हो और सेवाभाव हो तो आप बड़ी से बड़ी चुनौती से पार पा सकते हैं. इस मुश्किल परिस्थिति में आप अपना और अपने परिवार का ख्याल रखें. अपनी रक्षा करें और यथासंभव दूसरों की मदद करें.
Also Read: Buddha Purnima 2020: 205 सालों बाद बुद्ध पूर्णिमा पर दुर्लभ संयोग, जानें क्या मिलेगा फल…बुद्ध पूर्णिमा पर हर साल कई तरह के आयोजन होते हैं. लाखों श्रद्धालु पवित्र नदियों में स्नान करके दान-पुण्य करते हैं. इस बार चूंकि कोरोना के संक्रमण के चलते देशभर में लॉकडाउन है. ऐसे में लोग गंगा स्नान करने नहीं जा सकते हैं. ज्योतिषियों के अनुसार अपने घर में ही पवित्र गंगा का मन ही मन स्मरण करते हुए स्वच्छ जल से स्नान करें. बाहर जाने से बचें. पूर्णिमा के दिन गुरु और शनि मकर राशि में रहेंगे. मंगल कुंभ राशि में, राहु मिथुन राशि में, केतु धनु राशि में रहेगा. गुरु नीच का है और यह मकर राशि में रहेगा. ग्रहों का यह प्रभाव लोगों के लिए फायदेमंद हो सकता है. चंद्रमा और सूर्य एक दूसरे के सामने हैं. इससे लोगों को कई व्याधियों से छुटकारा मिल सकता है. वहीं उथल-पुथल का माहौल भी हो सकता है.