दिल्ली में बढ़ते डेंगू के मामले लोगों के लिए चिंता का विषय बन गया है. राजधानी में इस साल करीब 140 डेंगू के मामले सामने आए हैं. जारी आंकड़ों के अनुसार, इस साल आठ जुलाई तक दिल्ली में डेंगू के 136 और मलेरिया के 43 मामले दर्ज किए गए हैं. वहीं मामले की गंभीरता के मद्देनजर स्वास्थ्य मंत्री सौरभ भारद्वाज ने मच्छर जनित बीमारियों के प्रसार को रोकने के लिए मंगलवार को सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक की.
डेंगू बुखार एडिस नामक मच्छर के काटने से होता. डेंगू बिमारी होने पर मांशपेशियों और जोड़ों में हड्डी टूटने जैसा दर्द होता है. इसलिए इसे हड्डी तोड़ बुखार भी कहा जाता है. डेंगू के लक्षणों में तेज बुखार, सिर दर्द मांसपेशियों व जोड़ों में दर्द जैसे लक्षण शामिल है. डेंगू के संक्रमित होने पर 4 से 5 दिन में इसके लक्षण दिखने शुरू हो जाते हैं. वहीं मलेरिया अनोफलीज नामक मादा मच्छर के काटने से लोगों को मलेरिया होता है.
इस बीमारी में व्यक्ति को तेज बुखार, सिरदर्द होना, ठंड लगना जैसे प्रमुख लक्षण शामिल है. इस बीमारी से पीड़ित होने पर कभी बहुत तेज तो कभी बहुत कम बुखार होता है. बारिश के मौसम में मलेरिया का संक्रमण ज्यादा फैलता है. संक्रमित व्यक्ति में डेंगू के लक्षण 7 दिनों के अंदर दिखने लगते हैं, जबकि, मलेरिया के लक्षण 10 से 15 दिनों के बाद देखने को मिलता है.
बारिश का मौसम शुरु होते ही डेंगू, मलेरिया जैसी बीमारियां भी शुरु हो जाती है. इस मौसम में मच्छरों का प्रकोप काफी बढ़ जाता है. बारिश में पानी का जमाव होने के कारण डेंगू पनपने लगता है. जहां डेंगू के मच्छर गंदी नालियों में नहीं बल्कि साफ सुथरे पानी में पनपते हैं, इसलिए साफ-सुथरे इलाकों में रहने वाले लोगों को इसका ज्यादा खतरा रहता है. वहीं मलेरिया कीचड़, जलजमाव व गंदगी से फैलता है.
– अपने आसपास के वातावरण को साफ सुथरा रखना चाहिए
– घर के आसपास किसी भी प्रकार का जलजमाव न होने दें
– बारिश के मौसम में शरीर को ढंकने वाले कपड़े पहनेने चाहिए
– घर के कोनों में मच्छर भगाने वाले स्प्रे की छिटकाव करते रहना चाहिए
– शाम होते ही दरवाजें, खिड़कियां बंद कर दें, ताकि मच्छर घर में न घुस पाए
– डेंगू या मलेरिया जैसे लक्षण पाए जाने पर तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए