नयी दिल्ली : दिवाली 14 नवंबर को है, धनतेरस से इस त्योहार की शुरुआत हो जायेगी जो भाई दूज तक चलेगा. दिवाली पर देश में हर साल चीनी लाइट्स की भरमार होती है, लेकिन इस बार बाजार में चीनी फैंसी लाइट्स की कमी है. भारत-चीन सीमा विवाद और भारतीय निर्माताओं की आत्मनिर्भरता के कारण चीनी लाइट्स की डिमांड पर बुरा असर पड़ा है.
आत्मनिर्भर भारत के नारों के बीच भारतीय निर्माताओं ने स्वदेशी लाइट्स तो बनाये हैं, लेकिन उनका स्टॉक करके रखा हुआ है, जिसके कारण फैंसी लाइट्स की कीमत बढ़ गयी है. वहीं इस बार दीये और कैंडिल की डिमांड बहुत ज्यादा है. मेट्रो सिटीज में तो दीयों का प्रचलन कम हो गया है, लेकिन छोटे शहरों में दीये की डिमांड बहुत ज्यादा है.
Assam: Shopkeepers in Guwahati say that demand for Chinese fancy lights has been hit this year due to self-reliance of Indian manufacturers.
"There's been no supply of Chinese lights. Shopkeepers have stocked up India-made lights, so prices have gone up," says a local shopkeeper pic.twitter.com/fHc1UvvLNv
— ANI (@ANI) November 8, 2020
कोरोना वायरस के प्रकोप के कारण इस बार हर त्योहार प्रभावित हुआ है. दिवाली भी इससे प्रभावित है. दिवाली पर पटाखो जलाने की परंपरा है, लेकिन पटाखों पर प्रतिबंध लगाया जा रहा है ताकि कोरोना वायरस का प्रसार ना हो. कई राज्य सरकारों ने पटाखों को प्रतिबंधित किया है. दिल्ली में पहले ग्रीन पटाखों की इजाजत दी गयी थी, लेकिन कोरोना और प्रदूषण के कारण सभी तरह के पटाखों पर बैन कर दिया गया है.
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वहीं इस बार अयोध्या में दीये जलाने के लिए पोर्टल बनाया जा रहा है. बताया जा रहा है कि इस बार वर्चुअल दीये जलाये जायेंगे जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की भी सहभागिता होगी. इस बार भगवान राम के दरबार में पांच लाख से ज्यादा लोगों को वर्चुअल दीप जलाने का मौका मिलेगा. इसके लिए उत्तर प्रदेश सरकार तैयारी कर रही है. इसमें लोगों को दीप प्रज्ज्वलन का आनंद देने के लिए तरह के प्रयोग किये जा रहे हैं. इस वर्चुअल दीप प्रज्ज्वलन का कार्यक्रम 13 नंवबर से होगा. मुख्य कार्यक्रम के बाद यह पार्टल आम लोगों के लिए खोल दिया जायेगा.
Posted By : Rajneesh Anand