Loading election data...

कृषि कानूनों को शीत सत्र में वापस लेगी नरेंद्र मोदी सरकार, 24 नवंबर को कैबिनेट में पास होगा प्रस्ताव

Farm Laws Repealed: केंद्रीय मंत्रिमंडल द्वारा तीन कृषि कानूनों को वापस लेने के विधेयकों को बुधवार को मंजूरी दिये जाने की संभावना है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 21, 2021 6:25 PM

Farm Laws Repeal: मानसून सत्र 2020 में नरेंद्र मोदी की सरकार ने जिन तीन कृषि कानूनों को संसद से पास करवाया था, शीत सत्र 2021 में उसे वापस लेने जा रही है. इस कानून को वापस लेने के प्रस्ताव को बुधवार (24 नवंबर) को होने वाली कैबिनेट की बैठक में पास किया जा सकता है. न्यूज एजेंसी पीटीआई ने सूत्रों के हवाले से यह खबर दी है.

कहा जा रहा है कि केंद्रीय मंत्रिमंडल द्वारा तीन कृषि कानूनों को वापस लेने के विधेयकों को बुधवार को मंजूरी दिये जाने की संभावना है. मंत्रिमंडल की मंजूरी के बाद इन विधेयकों को संसद के आगामी सत्र में पेश किया जायेगा. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को गुरु पर्व के मौके पर राष्ट्रहित में कानूनों को वापस लेने की सरकार की मंशा की घोषणा की थी.

संसद का शीतकालीन सत्र 29 नवंबर से शुरू होगा. कानूनों को वापस लेने की मांग करते हुए पिछले साल नवंबर से दिल्ली की सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे किसानों ने कहा है कि वे संसद द्वारा कानून निरस्त किये जाने तक प्रदर्शन स्थल पर डटे रहेंगे. प्रधानमंत्री की घोषणा के बाद अब सरकार तीन कृषि कानूनों को वापस लेने के लिए संसद में विधेयक पेश करेगी.

Also Read: Farm Laws: कृषि कानून वापस लेने का यूपी और पंजाब में कितना पड़ेगा असर? जानें क्‍या कहते हैं जानकार

केंद्र सरकार ने वर्ष 2020 के मानसून सत्र में तीन कानून- फार्मर्स प्रोड्यूस ट्रेड एंड कॉमर्स (प्रोमोशन एंड फैसिलिटेशन) एक्ट 2020, फार्मर्स (इम्पावरमेंट एंड प्रोटेक्शन) एग्रीमेंट ऑन प्राइस एस्योरेंस और फार्म सर्विसेज एक्ट 2020 एवं एसेंसियल कमोडिटीज (अमेंडमेंट) एक्ट 2020 पारित करवाया था.

इन तीनों कृषि कानूनों के संसद से पारित होने के कुछ ही दिनों बाद पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश के हजारों किसान दिल्ली की सीमा पर जुट गये. इन कानूनों को किसान विरोधी बताते हुए, इसे वापस लेने की मांग केंद्र सरकार से की. केंद्र सरकार ने कानून में सुधार की बात की, लेकिन किसान इसे वापस लेने पर अड़ गये.

करीब एक साल तक चले आंदोलन के बाद आखिरकार सरकार बैकफुट पर आयी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को खुद यह ऐलान करना पड़ा कि सरकार इन तीनों कृषि कानूनों को वापस लेगी. हालांकि, अब किसान इस बात पर अड़ गये हैं कि सरकार को न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर कानून बनाना होगा. किसानों को उसके फसल की उचित कीमत देनी होगी.

संसद तक ट्रैक्टर मार्च निकालेंगे किसान

कृषि कानूनों को वापस लिये जाने के पीएम के ऐलान के बावजूद किसानों ने 22 नवंबर को लखनऊ में किसान महापंचायत और 29 नवंबर को संसद तक ट्रैक्टर मार्च करने की बात कही है. किसानों की मांग है कि आंदोलन के दौरान उनके खिलाफ जो मुकदमे दर्ज किये गये हैं, उसे वापस लिया जाना चाहिए.

Posted By: Mithilesh Jha

Next Article

Exit mobile version