आज रात उल्का पिंडों की होगी बौछार, आतिशबाजी से जगमगा उठेगा आसमान

आज रात आसमान पर आप अनोखे नजारों का लुत्फ उठा सकते हैं. रविवार रात और सोमवार को fireworks on the sky tonight, sky, shooting star, Meteorite आतिशबाजी से पूरा आकाश जगमगा उठेगा. दरअसल 13 दिसंबर और 14 दिसंबर को आसमान पर उल्का पिंडों की बौछार होगी. उल्का पिंडों की बौछार से ऐसा लगेगा जैसे आसमान में आतिशबाजी हो रही है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 13, 2020 5:55 PM

आज रात आसमान पर आप अनोखे नजारों का लुत्फ उठा सकते हैं. रविवार रात और सोमवार को आतिशबाजी से पूरा आकाश जगमगा (fireworks on the sky tonight) उठेगा. दरअसल 13 दिसंबर और 14 दिसंबर को आसमान पर उल्का पिंडों (Meteorite) की बौछार होगी. उल्का पिंडों (shooting star) की बौछार से ऐसा लगेगा जैसे आसमान में आतिशबाजी हो रही है.

‘शूटिंग स्टार’ को न करें मिस

एम पी बिड़ला तारामंडल के निदेशक देवीप्रसाद दुआरी ने बताया कि ‘जैमिनिड’ के नाम से जानी जाने वाली उल्का पिंडों की यह बौछार 13 दिसंबर की रात को चरम पर होगी. यह वर्ष की सबसे बड़ी उल्का पिंड बौछार होगी.

देश हर कोने से ले सकेंगे आतिशबाजी का नजारा

यदि आज आसमान साफ रहेगा तो जेमिनिड उल्का पिंड बौछार को भारत के हर हिस्से से देखा जा सकेगा. उल्का पिंड चमकदार रोशनी की जगमगाती धारियां होती हैं, जिन्हें अक्सर रात में आसमान में देखा जा सकता है. इन्हें ‘शूटिंग स्टार’ भी कहा जाता है.

कैसे और क्यों होती है आसमान पर आतिशबाजी

एम पी बिड़ला तारामंडल के निदेशक देवीप्रसाद दुआरी ने बताया कि वास्तव में, जब धूल के कण जितनी छोटी एक चट्टानी वस्तु बेहद तेज गति से पृथ्वी के वायुमंडल में प्रवेश करती है, तो घर्षण के कारण प्रकाश की खूबसूरत धारी बनती है. साल की एक निश्चित अवधि में आकाश की निश्चित दिशा से आते एक नहीं, बल्कि कई उल्का पिंड देखने को मिलते हैं, जिन्हें उल्का पिंड बौछार कहा जाता है.

कब होती है उल्का पिंडों की बौछार

उल्का पिंडों की बौछार अकसर उस समय होती है, जब पृथ्वी विभिन्न उल्का तारों के सूरज के निकट जाने के बाद छोड़ी गई धूल के बचे मलबे से गुजरती है. इनमें से जेमिनिड उल्का पिंड बौछार सबसे शानदार उल्का पिंड बौछारों में से एक होती है. हर बौछार हर साल दिसंबर के दूसरे सप्ताह के आस-पास दिखाई देती है. दुआरी ने बताया कि इस साल पूर्वानुमान है कि आसमान साफ होने के कारण प्रति घंटे 150 उल्का पिंछों की बौछार दिख सकती है.

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