पूर्व चीफ जस्टिस रंजन गोगोई के घर में घुसा बाढ़ का पानी, असम में अब तक 12 लोगों की मौत

दिसपुर : असम में मानसून अपने चरम पर है. कई इलाके बाढ़ से प्रभावित हैं. इस बीच शुक्रवार को भारत के पूर्व मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति रंजन गोगोई के डिब्रुगढ़ स्थित घर में बाढ़ का पानी घुस गया. घर में उनकी बीमार मां थीं. स्थानीय प्रशासन ने उनकी बीमार मां को घर से निकालकर सुरक्षित जगह पर पहुंचाया है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 26, 2020 10:46 PM
an image

दिसपुर : असम में मानसून अपने चरम पर है. कई इलाके बाढ़ से प्रभावित हैं. इस बीच शुक्रवार को भारत के पूर्व मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति रंजन गोगोई के डिब्रूगढ़ स्थित घर में बाढ़ का पानी घुस गया. घर में उनकी बीमार मां थीं. स्थानीय प्रशासन ने उनकी बीमार मां को घर से निकालकर सुरक्षित जगह पर पहुंचाया है.

डिब्रूगढ़ के उपायुक्त पल्लव गोपाल झा ने बताया कि न्यायमूर्ति रंजन गोगोई के घर में बाढ़ का पानी घुस गया है. उनकी बीमार मां को घर से निकालकर सुरक्षित स्थान पर पहुंचा दिया गया है. असम के कई इलाकों में इन दिनों बाढ़ की त्रासदी देखने को मिल रही है. असम सहित पूर्वोत्तर के कई राज्यों में भारी बारिश देखने को मिल रही है.

असम में बाढ़ की स्थिति गंभीर बनी हुई है और अब तक 38,000 लोग इससे प्रभावित हुए हैं और अब तक 12 लोगों की मौत हो चुकी है. असम राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की प्रतिदिन की रिपोर्ट के मुताबिक राज्य में बाढ़ के कारण 24 जून को एक और व्यक्ति की मौत हो जाने के साथ कुल मृतक संख्या बढ़कर 12 हो गयी.

मौसम विभाग ने कहा कि मानसून के पूरे देश में पहुंचने की सामान्य तारीख 8 जुलाई होती है. इस साल दक्षिण पश्चिम मानसून सामान्य तारीख से 12 दिन पहले पूरे देश में पहुंच गया है. आईएमडी के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्रा ने कहा, ‘2013 के बाद, मानसून इस वर्ष इतनी तेजी से देश में छाया है.’ 2013 में मानसून 16 जून को पूरे देश में पहुंच गया था. उसी समय उत्तराखंड में भीषण बाढ़ भी आयी थी.

डिब्रूगढ़ में सीआरपीएफ के हेडक्वार्टर में भी बाढ़ का पानी घुस गया है जिसके कारण जवानों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. यहां जवानों के बेड रूम तक पानी पहुंच गया है. असम के अलग-अलग हिस्सों में लगातार हो रही बारिश से प्रमुख नदियों का जलस्तर बढ़ गया है और वह उफान पर हैं.

गुवाहाटी में ब्रह्मपुत्र नदी का पानी खतरे के निशान से सिर्फ एक मीटर नीचे है. हालांकि नदी का जलस्तर तेजी से ऊपर की ओर बढ़ रहा है. केंद्रीय जल आयोग के एक अधिकारी ने बताया कि ब्रह्मपुत्र नदी के पानी का स्तर खतरे के निशान के करीब पहुंच गया है और इसके और बढ़ने की संभावना है. वर्तमान में पानी का स्तर खतरे के निशान से 1 मीटर नीचे है. बिहार और उत्तर प्रदेश की नदियां भी उफान पर हैं. वज्रपात ने कई लोगों की जान ले ली है.

Posted By: Amlesh Nandan Sinha.

Exit mobile version