चंबा (Himachal Pradesh Weather) : सियाचिन में बर्फीले पहाड़ों पर डयूटी देने वाले जवानों की चर्चा तो अकसर होती है. लेकिन दुर्गम पोस्ट पर तैनात पुलिस के जवानों के खास मददगार अनजाने रह जाते हैं. चंबा जिले के साथ लगने वाले जम्मू-कश्मीर की सीमा पर इन दिनों तीन से चार फुट बर्फ में लंगेरा चेकपोस्ट पर तैनात पुलिस के जवानों के लिए एसपीओ न हों तो बड़ी मुश्किलें हो सकती हैं. मेस में दूध व खाद्य सामग्री पहुंचाने का काम एसपीओ ही करते हैं. इसके लिए वह ग्लेशियर पारकर, तीन-चार फुट बर्फ में पैदल चलकर ये सामान पहुंचाने की जिम्मेदारी निभाते हैं. एक किलोमीटर का यह सफर एसपीओ को रोजाना तय करना पड़ता है.
देखा और सुना जाता है. लेकिन, चंबा जिले के साथ लगने वाले जम्मू कश्मीर की सीमा पर इन दिनों तीन से चार फुट बर्फ में पुलिस के साथ सेवाएं देने वाले एसपीओ की तरफ आज तक किसी ने ध्यान नहीं दिया. पुलिस जवान सीमांत चेक पोस्ट लंगेरा में सुरक्षा का जिम्मा संभाले हैं. इन जवानों के लिए दूध और मैस में खत्म होने वाले खाद्य सामग्री एसपीओ ग्लेश्यिर पार करके और तीन फुट बर्फ में एक किलोमीटर पैदल चलकर ला रहे हैं. यह सफर एसपीओ को रोजाना तय करना पड़ता है.
बीते वर्ष इसी ग्लेशियर में दबने से एक आईटीबीपी जवान की मौत हो गई थी. तीन दिनों के बाद उसका शव मिला था. लेकिन, एसपीओ अपनी जान की परवाह किए बिना चेक पोस्ट पर डयूटी देने वाले पुलिस जवानों के लिए जरूरी सामान मुहैया करवा रहे हैं. हालांकि, पुलिस जवानों की सुविधा के लिए विभाग ने उन्हें जैकेट, बर्फ में चलने के लिए विशेष जूते उपलब्ध करवाता है. लेकिन, एसपीओ के लिए इस प्रकार की कोई सुविधा नहीं है. उन्हें सिर्फ छह हजार रुपये मासिक वेतन दिया जाता है. यानी सिर्फ दो सौ रुपये रोज. इसके अलावा कोई अतिरिक्त भत्ता नहीं मिलता. अपने नियमतीकरण और वेतन बढ़ोतरी को लेकर एसपीओ लंबे समय से मांग कर रहे हैं लेकिन, उनकी मांग को किसी भी सरकार ने पूरा नहीं किया. इससे उनमें भारी रोष है.
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एसपीओ कल्याण संघ के अध्यक्ष श्याम ठाकुर ने बताया कि चंबा और जेएंडके की सीमा पर एसपीओ पुलिस जवानों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर डयूटी कर रहे हैं. जवानों के लिए दूध और मेस का अन्य सामान एसपीओ ग्लेशियर को पार करके गांव से लाते हैं. सरकार को उनकी ईमानदारी और कर्त्वयनिष्ठा को देखते हुए उनके वेतन की ओर ध्यान देना चाहिए.