History Of 26 December: 18 साल पहले सुनामी ने भारत सहित कई देशों में मचाई थी तबाही, लाखों की हुई थी मौत
2004 में सुनामी से भारत में भी बड़ी संख्या में लोगों की मौत हुई थी. भारत में अकेले 16 हजार से अधिक लोग की जान चली गयी थी. दुनिया भर की बात करें, तो करीब 2.5 लाख से अधिक लोगों को सुनामी ने लील लिया था.
इतिहास में 26 दिसंबर का दिन एक दुखद घटना के रूप में दर्ज है. आज से ठीक 18 साल पहले 2004 में इंडोनेशिया के उत्तरी भाग में स्थित असेह के निकट रिक्टर पैमाने पर 8.9 तीव्रता के भूकंप के बाद समुद्र के भीतर उठी सुनामी ने भारत सहित कई देशों में भारी तबाही मचाई थी. जिसमें लाखों लोगों की मौत हो गयी थी. उस समय तक सुनामी की पूर्व चेतावनी जैसी कोई प्रणाली प्रचलन में नहीं थी. इसी का नतीजा था कि इस तरह की तबाही का किसी को अंदाजा भी नहीं था. थाइलैंड और अन्य देशों में समुद्र किनारे बने होटलों और रिसॉर्ट में बड़ी संख्या में ठहरे विदेशी पर्यटकों की इस समुद्री कहर ने जान ले ली थी.
भारत में भी सुनामी से गयी थी 16 हजार से अधिक लोगों की जान
2004 में सुनामी से भारत में भी बड़ी संख्या में लोगों की मौत हुई थी. भारत में अकेले 16 हजार से अधिक लोग की जान चली गयी थी. दुनिया भर की बात करें, तो करीब 2.5 लाख से अधिक लोगों को सुनामी ने लील लिया था. आपदा की भयावहता को इसी से अंदाजा लगाया जा सकता है कि कई दिनों तक मृतकों के शव बरामद किये जाते रहे.
देश-दुनिया के इतिहास में 26 दिसंबर की तारीख में दर्ज अन्य प्रमुख घटनायें
1904 : दिल्ली से मुंबई के बीच देश की पहली ‘क्रॉस कंट्री मोटरकार रैली’ की शुरुआत.
1925 : भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी की स्थापना.
1978 : भारत की पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को जेल से रिहा किया गया। मोरारजी देसाई की सरकार ने 19 दिसंबर को इंदिरा गांधी को गिरफ्तार किया था.
1997 : ओडिशा के प्रमुख नेता बीजू पटनायक के पुत्र नवीन पटनायक ने बीजू जनता दल (बीजद) की स्थापना की.
2003 : ईरान के दक्षिणी पूर्वी शहर बाम में रिक्टर पैमाने पर 6.6 की तीव्रता वाले भूकंप से जान और माल का भारी नुकसान.
2004 : शक्तिशाली भूकंप के बाद भारत, श्रीलंका, इंडोनेशिया, थाईलैंड, मलेशिया, मालदीव और आसपास के क्षेत्रों में सुनामी ने भारी तबाही मचाई. लगभग दो लाख तीस हजार लोगों की मौत.
2006 : आस्ट्रेलिया के फिरकी गेंदबाज शेन वार्न ने अंतरराष्ट्रीय टेस्ट क्रिकेट में 700 विकेट लेकर इतिहास रचा.
2012 : चीन की राजधानी बीजिंग से देश के एक अन्य प्रमुख शहर ग्वांग्झू तक बनाए गए दुनिया के सबसे लंबे हाई स्पीड रेलमार्ग की शुरुआत.
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