भारत-चीन वार्ता के बीच चीन की चाल, लद्दाख में तैनात की सेना की सबसे आधुनिक तोप पीसीएल -181

India China border dispute between talks china deployed in Ladakh Cannon PCL-181 : पूर्वी लद्दाख में सीमा गतिरोध को दूर करने के लिए भारत और चीन के सैन्य कमांडरों के बीच आज फिर बातचीत हो रही है. इसी बीच यह खबर आ रही है कि चीनी सेना ने सीमा पर तनाव के बीच अपनी सबसे आधुनिक तोप पीसीएल -181 को लद्दाख की सीमा पर तैनात कर दिया है. यह खबर चीनी मीडिया के हवाले से आ रही है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 11, 2020 4:24 PM
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नयी दिल्ली : पूर्वी लद्दाख में सीमा गतिरोध को दूर करने के लिए भारत और चीन के सैन्य कमांडरों के बीच आज फिर बातचीत हो रही है. इसी बीच यह खबर आ रही है कि चीनी सेना ने सीमा पर तनाव के बीच अपनी सबसे आधुनिक तोप पीसीएल -181 को लद्दाख की सीमा पर तैनात कर दिया है. यह खबर चीनी मीडिया के हवाले से आ रही है.

चीनी मीडिया का दावा है कि यह अत्याधुनिक तोप है, जिसका वजन काफी कम है. यह तोप पहाड़ी इलाकों में काफी अच्छे से चलाया जा सकता है. चीनी मीडिया का दावा है कि उसने डोकलाम में भी इस तोप को तैनात किया था.

आज की बातचीत का ब्यौरा अभी प्राप्त नहीं हुआ है, इससे पहले बुधवार को हुई वार्ता साढ़े चार घंटे से ज्यादा चली. वार्ता में भारतीय प्रतिनिधिमंडल ने यथास्थिति बहाल करने और गतिरोध वाले सभी स्थानों पर काफी संख्या में जमे चीनी सैनिकों को तुरंत हटाए जाने पर जोर दिया.

मेजर जनरल स्तर की वार्ता पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) के भारतीय हिस्से में हुई. सेना के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, ‘‘वार्ता सकारात्मक रही और दोनों पक्षों ने सकारात्मक माहौल में विचारों का आदान-प्रदान किया. दोनों सेनाएं वार्ता के माध्यम से गतिरोध को दूर करने के लिए प्रतिबद्ध हैं.”

गतिरोध को शांतिपूर्ण तरीके से खत्म करने के लिए दोनों सेनाओं ने गलवान घाटी ओर हॉट स्प्रिंग के कुछ इलाकों में सीमित संख्या में अपने सैनिकों को पीछे हटा लिया जिसके एक दिन बाद यह वार्ता हुई है. अधिकारी ने पहचान उजागर नहीं करने की शर्त पर को बताया, ‘‘भारतीय पक्ष ने अपने विचार स्पष्ट रूप से रखे. चीनी पक्ष ने भी अपनी स्थिति रखी.” बहरहाल, दोनों पक्ष पैंगोंग सो, दौलत बेग ओल्डी और डेमचोक जैसे कुछ इलाकों में अब भी आमने-सामने हैं.

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सैन्य सूत्रों ने मंगलवार को कहा था कि दोनों सेनाएं गलवान घाटी के गश्ती प्वाइंट 14 और 15 तथा हॉट स्प्रिंग इलाके में ‘‘पीछे हटी” हैं. उन्होंने कहा कि चीनी पक्ष दोनों इलाकों में डेढ़ किलोमीटर तक पीछे चला गया है. पैंगोंग सो में पांच मई को हिंसक संघर्ष के बाद भारत और चीन की सेनाएं आमने-सामने हैं. गतिरोध को समाप्त करने के लिए पहले गंभीर प्रयास के तहत लेह स्थित 14 कोर के जनरल ऑफिसर कमांडिंग लेफ्टिनेंट जनरल हरिंदर सिंह और तिब्बत सैन्य जिले डिस्ट्रिक्ट के कमांडर मेजर जनरल लियू लिन के बीच छह जून को विस्तृत बातचीत हुई थी.

Posted By : Rajneesh Anand

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