इंडियन नर्सिंग काउंसिल ने दहेज के फायदे वाले पाठ्यक्रम को लेकर अधिसूचना जारी की है. इंडियन नर्सिंग काउंसिल ने कहा है, यह बात संज्ञान में आई है कि सोशियोलॉजी फॉर नर्सिंग के कुछ लेखक आईएनसी के नाम का इस्तेमाल करके अपनी किताबें निकाल रहे हैं. आईएनसी ऐसे किसी भी कंटेंट की निंदा करता है जो कानून का उल्लंघन करता हो. नर्सिंग काउंसिल के पाठ्यक्रम (Nursing Council Syllabus) की एक किताब में दहेज के फायदे बताए गए हैं. जिसके बाद सोशल मीडिया पर किताब की यह बातें जोर-शोर से वायरल हो रही हैं.
इंडियन नर्सिंग काउंसिल ने यह भी साफ किया है कि नर्सिंग कार्यक्रमों के लिए उन्हीं सिलेबस को प्रस्तावित करता है, जो आईएनसी की वेबसाइट पर हैं. गौरतलब है कि, नर्सिंग काउंसिल के पाठ्यक्रम की एक किताब में दहेज के फायदे को सूचीबद्ध करते हुए कहा गया है कि, दहेज के कारण कुछ बदसूरत लड़कियों की भी शादी हो जाती है. नई गृहस्थी बसाने में मदद मिलती है. वहीं, इस किताब की यह बातें अब सोशल मीडिया की सुर्खियों में हैं और तेजी से वायरल हो गया है.
Indian Nursing Council has issued a notification on the viral image of a page from the Textbook of Sociology for Nurses by TK Indrani (Pic-2), listing the "merits and advantages" of the dowry system. pic.twitter.com/cS7YmG5sW9
— ANI (@ANI) April 5, 2022
क्या लिखा है किताब में: इस किताब में दहेज के फायदे बताते हुए लिखा गया है कि दहेज में दिए गए फ्रिज, टीवी समेत अन्य सामान नई गृहस्थी बसाने में मदद करते हैं. दहेज को किताब में पिता की ओर से बेटी के हिस्से की जायदाद बताया गया है. इसके अलावा कहा गया है कि दहेज के बोझ के डर से लोग अपनी बेटियों को पढ़ाते हैं. इस किताब में एक और बात कही गई है कि दहेज के कारण बदसूरत लड़कियों की भी शादी हो जाती है.
शिवनेसा सांसद ने बताया शर्मनाक: इधर, नर्सिंग काउंसिल के पाठ्यक्रम से दहेज प्रथा विषय को हटाने की मांग उठने लगी है. शिवसेना नेता सह राज्यसभा सांसद प्रियंका चतुर्वेदी ने पुस्तक के एक पृष्ठ की तस्वीर शेयर करते हुए इसे शर्मनाक बताया है. प्रियंका ने कहा कि यह शर्म की बात है. वहीं, उन्होंने केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान से इस पुस्तक को पाठ्यक्रम से हटाने की मांग की है.
Posted by: Pritish Sahay