सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद कब होंगे जम्मू-कश्मीर में चुनाव? पीएम मोदी ने किया ये ट्वीट
सुप्रीम कोर्ट की पांच सदस्यीय पीठ ने सोमवार को जम्मू कश्मीर में अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को निरस्त किए जाने को चुनौती देने वाली याचिका पर ऐसा फैसला सुनाया है जिससे केंद्र की मोदी सरकार को राहत मिली है. जानें चुनाव कराए जाने को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा
सुप्रीम कोर्ट की पांच सदस्यीय पीठ ने जम्मू कश्मीर में अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को निरस्त किए जाने को चुनौती देने वाली याचिका पर सोमवार को सुनवाई की और एक ऐतिहासिक फैसला सुनाया. सीजेआई डी वाई चंद्रचूड़ ने अनुच्छेद 370 को निरस्त करने का आदेश संवैधानिक तौर पर वैध बताया है. उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर की संविधान सभा की सिफारिश भारत के राष्ट्रपति के लिए बाध्यकारी नहीं है. 370 के निरस्त करने को संवैधानिक ठहराते हुए सीजेआई ने प्रदेश में जल्द चुनाव करवाने का आदेश दिया. सुप्रीम कोर्ट ने पूर्ववर्ती जम्मू-कश्मीर राज्य को विशेष दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को निरस्त किए जाने के सरकार के फैसले को बरकरार रखते हुए कहा कि अगले साल 30 सितंबर तक विधानसभा चुनाव कराने के लिए कदम उठाए जाने चाहिए. यानी सितंबर 2024 तक जम्मू-कश्मीर में चुनाव कराए जा सकते है.
नजरबंदी की खबरें बेबुनियाद
इस बीच नजरबंदी के दावे कई नेताओं की ओर से की जा रही थी जिसपर जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा की प्रतिक्रिया सामने आई. उन्होने कहा कि संविधान के अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को निरस्त किए जाने को लेकर सुप्रीम कोर्ट के फैसले से पहले किसी की नजरबंदी या गिरफ्तारी की कोई भी खबर पूरी तरह से गलत और बेबुनियाद है. आपको बता दें कि पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) ने दावा किया था कि उसकी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती को कोर्ट के फैसले से पहले सोमवार को नजरबंद कर दिया गया है.
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इधर अनुच्छेद 370 पर सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई के बाद राजनीतिक प्रतिक्रिया आने लगी है. नेशनल कांफ्रेंस के नेता उमर अब्दुल्ला ने संविधान के अनुच्छेद 370 को निरस्त करने पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर कहा कि निराश हूं लेकिन निरुत्साहित नहीं हूं. संघर्ष जारी रहेगा. वहीं गुलाम नबी आजाद ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण है, जम्मू-कश्मीर के लोग इससे खुश नहीं हैं लेकिन हमें इसे स्वीकार करना होगा.
Today's Supreme Court verdict on the abrogation of Article 370 is historic and constitutionally upholds the decision taken by the Parliament of India on 5th August 2019; it is a resounding declaration of hope, progress and unity for our sisters and brothers in Jammu, Kashmir and…
— Narendra Modi (@narendramodi) December 11, 2023
पीएम मोदी ने क्या कहा
इस ऐतिहासिक फैसले के बाद पीएम मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर लिखा कि आज के फैसले से उम्मीद जागती है. ये फैसला आशा की किरण है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि संविधान के अनुच्छेद 370 को निरस्त करने पर न्यायालय का फैसला ऐतिहासिक, यह पांच अगस्त, 2019 के संसद के फैसले को संवैधानिक रूप से बरकरार रखने वाला है. उन्होंने कहा कि जम्मू कश्मीर, लद्दाख में हमारी बहनों और भाइयों के लिए आशा, प्रगति, एकता की शानदार घोषणा है. जम्मू कश्मीर, लद्दाख के लोगों को आश्वस्त करना चाहता हूं कि आपके सपने पूरे करने की हमारी प्रतिबद्धता अटूट है.
Also Read: आर्टिकल 370 पर ‘सुप्रीम’ फैसले से पहले जम्मू कश्मीर पुलिस ने 5 लोगों पर किया केस दर्जपीएम मोदी ने आगे कहा कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला केवल कानूनी निर्णय नहीं है बल्कि आशा की किरण और मजबूत, अधिक एकजुट भारत के निर्माण के सामूहिक संकल्प का प्रमाण है.
I welcome the Honorable Supreme Court of India's verdict upholding the decision to abolish #Article370.
— Amit Shah (@AmitShah) December 11, 2023
On the 5th of August 2019, PM @narendramodi Ji took a visionary decision to abrogate #Article370. Since then peace and normalcy have returned to J&K. Growth and development…
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने पूर्ववर्ती जम्मू-कश्मीर राज्य से संबंधित अनुच्छेद 370 को निरस्त करने संबंधी सरकार के फैसले को सुप्रीम कोर्ट के द्वारा बरकरार रखे जाने के निर्णय का स्वागत किया और कहा कि इससे साबित हो गया कि केंद्र सरकार का फैसला ‘पूरी तरह से संवैधानिक’ था. बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने भी कोर्ट के फैसले का स्वागत किया है.
#WATCH | On SC verdict on Art 370 in J&K, PDP chief Mehbooba Mufti says, "…We should not be disheartened… J&K has seen several ups and downs… SC's verdict stating Article 370 was a temporary provision, is not our defeat, but the defeat of the idea of India… I want to say… pic.twitter.com/moTm2HPzpO
— ANI (@ANI) December 11, 2023
पीसीे प्रमुख सज्जाद लोन ने क्या कहा
पीपुल्स कॉन्फ्रेंस (पीसी) के प्रमुख सज्जाद लोन ने कहा है कि संविधान के अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को निरस्त करने को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर कोर्ट का फैसला निराशाजनक है. जम्मू-कश्मीर के लोग एक बार फिर न्याय से वंचित रह गए. जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने कहा, हमें निराश नहीं होना चाहिए… जम्मू-कश्मीर ने कई उतार-चढ़ाव देखे हैं…