JEE, JEE NEET 2020, Mamata Banerjee: कोलकाता : पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस की सुप्रीमो ममता बनर्जी ने कहा है कि जेईई/एनईईटी परीक्षा आयोजित करने पर अड़े रहकर केंद्र सरकार छात्रों की जान जोखिम में डाल रही है. उन्होंने कहा कि केंद्र उपदेश देने में व्यस्त है.
इसकी बजाय उसे छात्रों के ‘मन की बात’ को सुनना चाहिए. ममता बनर्जी ने टीएमसी की छात्र शाखा की एक डिजिटल रैली में शुक्रवार (28 अगस्त, 2020) को कहा कि बंगाल सरकार दुर्गा पूजा से पहले कॉलेज/विश्वविद्यालय के अंतिम वर्ष के छात्रों की परीक्षा आयोजित करने के फायदे-नुकसान पर विचार कर रही है.
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ने सितंबर में जेईई और नीट परीक्षा आयोजित करने के फैसले के लिए केंद्र की आलोचना की और कहा कि केंद्र सरकार का इस पर अड़े रहने का रवैया कोविड-19 संकट को और बढ़ायेगा. सुश्री बनर्जी ने तृणमूल कांग्रेस छात्र परिषद (टीएमसीपी) की एक डिजिटल रैली को संबोधित करते ये बातें कहीं.
उन्होंने कहा, ‘मैंने अपने शिक्षा मंत्री से कहा है कि अक्तूबर में दुर्गा पूजा से पहले विश्वविद्यालयों और कॉलेजों में अंतिम वर्ष की परीक्षा आयोजित करने की संभावना पर गौर करें. ऑनलाइन और ऑफलाइन परीक्षा दोनों के विकल्पों पर विचार किया जाना चाहिए.’
उन्होंने कहा, ‘हम किसी भी परीक्षा के खिलाफ नहीं हैं. हम सिर्फ यह कह रहे हैं कि महामारी फैली हुई है और यह छात्रों की जान को जोखिम में डाल सकती है.’ सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को फैसला सुनाया कि राज्य और विश्वविद्यालय 30 सितंबर तक अंतिम वर्ष की परीक्षा आयोजित किये बिना छात्रों को प्रोन्नत नहीं कर सकते. कोर्ट ने कहा कि अगर किसी राज्य को लगता है कि वह 30 सितंबर तक परीक्षा आयोजित नहीं कर सकता है, तो उसे नयी तारीखों के लिए यूजीसी से संपर्क करना होगा.
सितंबर में जेईई-नीट परीक्षा आयोजित करने के निर्णय को लेकर केंद्र की आलोचना करते हुए, ममता बनर्जी ने कहा, ‘हमने महामारी के कारण केंद्र सरकार से इसे स्थगित करने का आग्रह किया, लेकिन केंद्र सरकार अपने फैसले पर अड़ी हुई है. केंद्र छात्रों के मन की बात सुनने की बजाय उपदेश देने में व्यस्त है.’
पश्चिम बंगाल सहित छह विपक्षी पार्टी राज्यों के मंत्रियों ने शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट में पुनर्विचार याचिका दायर कर कोविड-19 महामारी के बावजूद केंद्र को नीट और जेईई की प्रवेश परीक्षाएं आयोजित करने की अनुमति देने के आदेश पर फिर से विचार करने का अनुरोध किया है.
Posted By : Mithilesh Jha