Yasin Malik को उम्रकैद की सजा के विरोध में जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा बलों के साथ यासीन समर्थकों की झड़प
लाल चौक से कुछ ही दूरी पर स्थित मैसूमा में यासीन मलिक के आवास के बाहर बड़ी संख्या में महिलाओं समेत लोग जमा हो गये. उन्होंने अलगाववादी नेता के समर्थन में नारेबाजी की और इलाके में विरोध मार्च निकाला.
श्रीनगर: यासीन मलिक को उम्रकैद की सजा के विरोध में जम्मू-कश्मीर (Jammu-Kashmir News) में सुरक्षा बलों के साथ जेकेएलएफ (JKLF) चीफ के समर्थकों की झड़प हो गयी. यासीन को सजा सुनाये जाने से पहले ही श्रीनगर के मैसूमा इलाके में यासीन मलिक (Yasin Malik News) के समर्थकों ने सुरक्षा बल के जवानों पर पत्थरबाजी शुरू कर दी. इन्हें खदेड़ने के लिए सुरक्षा बलों को आंसू गैस के गोले दागने पड़े.
श्रीनगर के कुछ हिस्से रहे बंद
आतंकवाद के वित्तपोषण के मामले (Terror Funding Case) में दोषी ठहराये गये अलगाववादी नेता यासीन मलिक की सजा पर अदालत का फैसला आने से पहले श्रीनगर के कुछ हिस्से बुधवार को बंद रहे. शहर के मैसूमा इलाके में जम्मू-कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (जेकेएलएफ) के अध्यक्ष यासीन मलिक (JKLF Chief Yasin Malik) के समर्थकों एवं सुरक्षा बलों के बीच झड़प हुईं.
मैसूमा में जमा हुई भीड़, यासीन के समर्थन में की नारेबाजी
अधिकारियों ने बताया कि लाल चौक से कुछ ही दूरी पर स्थित मैसूमा में यासीन मलिक के आवास के बाहर बड़ी संख्या में महिलाओं समेत लोग जमा हो गये. उन्होंने अलगाववादी नेता के समर्थन में नारेबाजी की और इलाके में विरोध मार्च निकाला.
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सुरक्षा बलों के साथ यासीन समर्थकों की झड़प
अधिकारियों के अनुसार, प्रदर्शनकारियों ने मैसूमा चौक की तरफ बढ़ने का प्रयास किया और सुरक्षा बलों के साथ उनकी झड़प हो गयी. कुछ प्रदर्शनकारियों ने सुरक्षा बलों पर पत्थर फेंके. बाद में भीड़ को तितर-बितर करने के लिए सुरक्षा बलों ने आंसूगैस के गोले छोड़े. अधिकारियों ने बताया कि किसी के घायल होने की कोई खबर नहीं है.
लाल चौक में दुकानें और व्यापारिक प्रतिष्ठान रहे बंद
उन्होंने कहा कि लाल चौक में कुछ दुकानों सहित मैसूमा और आसपास के इलाकों में ज्यादातर दुकानें और व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद रहे. अधिकारियों ने बताया कि पुराने शहर के कुछ इलाकों में भी दुकानें बंद रहीं, लेकिन सार्वजनिक परिवहन सामान्य रहा. उन्होंने बताया कि कानून-व्यवस्था की किसी भी प्रकार की समस्या से बचने के लिए शहर में बड़ी संख्या में सुरक्षा बलों को तैनात किया गया है.
यासीन मलिक ने कबूल किये थे सारे आरोप
दिल्ली की एक अदालत ने प्रतिबंधित संगठन जम्मू कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (जेकेएलएफ) के प्रमुख यासीन मलिक को कड़े आतंकवाद रोधी कानून के तहत 19 मई को दोषी करार दिया था. मलिक ने अपने खिलाफ लगाये गये सभी आरोपों में दोष कबूल किया था. अदालत ने मलिक की सजा पर फैसला सुनाने के लिए मामले की सुनवाई 25 मई को निर्धारित की और आज मलिक को उम्रकैद की सजा सुनायी.
10 लाख का जुर्माना भी लगाया
अदालत ने यासीन मलिक पर 10 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया. विशेष न्यायाधीश प्रवीण सिंह ने गैर-कानूनी गतिविधियां रोकथाम अधिनियम (यूएपीए) और भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) के तहत विभिन्न अपराधों के लिए अलग-अलग अवधि की सजा सुनायी. सभी सजाएं साथ-साथ चलेंगी.