Karnataka Hijab Verdict: हिजाब विवाद- कर्नाटक हाईकोर्ट ने खारिज की याचिका, कई जिलों में धारा 144 लागू

Karnataka Hijab Verdict: हिजाब विवाद में कर्नाटक हाईकोर्ट ने छात्र-छात्राओं की दायर याचिका खारिज कर दी है. कर्नाटक हाईकोर्ट ने कहा है कि, हिजाब इस्लाम धर्म का अनिवार्य हिस्सा नहीं है. हाईकोर्ट ने यह भी कहा कि हिजाब पहनना इस्लाम में अनिवार्य नहीं है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 15, 2022 11:52 AM
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Karnataka Hijab Verdict: हिजाब को लेकर जारी विवाद के बीच कर्नाटक हाईकोर्ट ने आज यानी मंगलवार को बड़ा फैसला सुनाया है. कर्नाटक हाईकोर्ट ने कहा है कि, हिजाब इस्लाम धर्म का अनिवार्य हिस्सा नहीं है. हाईकोर्ट ने यह भी कहा कि हिजाब पहनना इस्लाम में अनिवार्य नहीं है. हाईकोर्ट ने छात्र-छात्राओं की दायर याचिका खारिज कर दी है.

कोर्ट ने सुरक्षित रखा था फैसला: गौरतलब है कि कर्नाटक में हिजाब विवाद काफी तूल पकड़ लिया है. स्कूल से होकर मामला हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट तक पहुंच चुका है. इसी कड़ी में बीते फरवरी महीनें में कर्नाटक हाईकोर्ट में हिजाब विवाद को लेकर 25 फरवरी को सुनवाई हुई थी, जिसपर फैसला हाईकोर्ट ने सुरक्षित रख लिया था.

कई जिलों में धारा 144: वहीं, इससे पहले प्रशासन ने हिजाब विवाद पर आनेवाले फैसले को लेकर कई जिलों में धारा 144 लगा दी है. साथ ही कुछ जिलों में स्कूल और कॉलेजों को बंद कर दिया गया है. सभा और बैठक करने पर पाबंदी लगा दी गई है. इस विवाद के कारण बजरंग दल के एक कार्यकर्ता की हत्या भी हो चुकी है.

हिजाब आवश्यक धार्मिक प्रथाओं में शामिल नहीं: इससे पहले एडवोकेट जनरल ने कर्नाटक सरकार का पक्ष रखते हुए कोर्ट में कहा था कि, राज्य सरकार का कहना है कि, हिजाब इस्लाम में आवश्यक धार्मिक प्रथाओं के तहत नहीं आता है. ऐसे में राज्य सरकार चाहती है कि, सभी बच्चे यूनिफार्म में ही शिक्षण संस्थाओं में आएं. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार धार्मिक मामलों में हस्तक्षेप नहीं करना चाहती.

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बता दें, हिजाब विवाद इसी साल के जनवरी महीने में शुरू हुआ. दरअसल, उडुपी गवर्नमेंट प्री-यूनिवर्सिटी कॉलेज में कुछ छात्राओं को हिजाब के कारण कॉलेज परिसर में जाने से रोका गया था. जिसके खिलाफ छात्राओं ने विरोध प्रदर्शन किया. देखते ही देखते विवाद इतना बढ़ गया की ये हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट तक पहुंच गया. इसके बाद आज हाईकोर्ट ने इसपर अपना फैसला सुनाया है.

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Posted by: Pritish Sahay

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