Kisan Andolan, Farmers Protest: शिवसेना नेता संजय राउत किसानों को आंदोलन को लेकर केन्द्र की मौदी सरकार पर तंज कसा है. राउत ने कहा है कि अगर केंद्रीय मंत्री यह जानकारी देते है कि किसानों के आंदोलन के पीछे चीन और पाकिस्तान का हाथ है, तो रक्षा मंत्री को तुरंत ही चीन और पाकिस्तान के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक कर देना चाहिए. गौरतलब है कि, केंद्र सरकार में मंत्री रावसाहेब दानवे ने बीते दिन बुधवार को दावा किया था कि, किसानों के विरोध प्रदर्शन के पीछे चीन और पाकिस्तान का हाथ है. शिवसेना नेता संजय राउत ने यह भी कहा कि राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, रक्षा मंत्री और गृह मंत्री को इस मुद्दे पर गंभीरता से विचार करना चाहिए.
अगर केंद्रीय के एक मंत्री ये जानकारी देते है कि ये जो किसान आंदोलन चल रहा इसके पीछे चीन और पाकिस्तान का हाथ है, तो रक्षा मंत्री को तुरंत चीन और पाक पर सर्जिकल स्ट्राइक करना चाहिए और राष्ट्रपति, रक्षा मंत्री,PM,HM को इस मुद्दे पर गंभीरता से विचार करना चाहिए: संजय राउत, शिवसेना pic.twitter.com/7vnTvKi3Hc
— ANI_HindiNews (@AHindinews) December 10, 2020
गौरतलब है कि, बीते 15 दिनों से तीन नये कृषि कानूनों को रद्द करने की मांग को लेकर किसान आंदोलन कर रहे हैं. आंदोलनरत किसानों ने बुधवार को केंद्र के उस प्रस्ताव को खारिज कर दिया, जिसमें उसने कहा था कि वह एमएसपी को जारी रखने के लिए लिखित आश्वासन देने को तैयार है. किसान नेताओं ने यहां कहा कि सरकार अगर दूसरा प्रस्ताव भेजे तो वे उन पर विचार कर सकते हैं. किसान नेता शिव कुमार कक्का ने कहा कि अगर तीनों कानून रद्द नहीं किये जाते, तो एक के बाद एक दिल्ली की सड़कों को बंद किया जायेगा और किसान सिंघु बॉर्डर पार कर दिल्ली में प्रवेश करने के बारे में भी फैसला ले सकते हैं.
एक्का ने ये भी कहा कि इन कानूनों के विरोध में किसान 14 दिसंबर को राज्यों में जिला मुख्यालयों का घेराव करेंगे और उससे पहले 12 दिसंबर को दिल्ली-जयपुर राजमार्ग बंद किया जायेगा. किसान नेता दर्शन पाल ने कहा कि 12 दिसंबर को आगरा-दिल्ली एक्सप्रेस-वे को बंद किया जायेगा और उस दिन देश के किसी भी टोल प्लाजा पर कोई कर नहीं दिया जायेगा.
वहीं, किसान नेता प्रह्लाद सिंह भारुखेड़ा ने कहा कि सरकार के प्रस्ताव में कुछ भी नया नहीं है और हम नये कृषि कानूनों के खिलाफ अपना प्रदर्शन जारी रखेंगे. तीन कृषि कानूनों के खिलाफ हजारों किसान पिछले कई दिनों से दिल्ली की विभिन्न सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे हैं.
कृषि वैज्ञानिक वरिंदरपाल सिंह ने पुरस्कार ठुकराया : पंजाब कृषि विवि के कृषि वैज्ञानिक वरिंदरपाल सिंह ने किसानों के आंदोलन के साथ एकजुटता दिखाने के लिए उर्वरक उद्योग की संस्था एफएआइ का पुरस्कार लेने से इनकार कर दिया. पौधों के पोषण से जुड़े कार्य के लिए वरिंदरपाल सिंह फर्टिलाइजर एसोसिएशन ऑफ इंडिया के गोल्डन जुबली अवार्ड के संयुक्त विजेता घोषित किये गये थे.
Posted by: Pritish Shay