Kisan Andolan : ‘किसान आंदोलन के बारे में उल्टा-सीधा बोलने लगा तो आया गुस्सा, तेल डालकर लगा दी आग’
बहादुरगढ़ (हरियाणा),Kisan Andolan : टीकरी बॉर्डर पर किसान आंदोलन के धरनास्थल पर मुकेश नाम के ग्रामीण को जिंदा जलाने के मामले में पकड़े गए आरोपी कृष्ण ने पुलिस से कहा कि उसने तैश में आकर एेसा किया. क्योंकि वह किसान आंदोलन के बारे में उल्टा-सीधा बोलने लगा था. इसके बाद उसने पास पड़ी पेट्रोल की बोतल उस पर उड़ेल कर आग लगा दी. अदालत ने कृष्ण को एक दिन के पुलिस रिमांड पर भेज दिया है. delhi farmer protest, farmer protest 2021, farmer protest in haryana, Farmer Protest Latest News
बहादुरगढ़ (हरियाणा,Kisan Andolan) : टीकरी बॉर्डर पर किसान आंदोलन के धरनास्थल पर मुकेश नाम के ग्रामीण को जिंदा जलाने के मामले में पकड़े गए आरोपी कृष्ण ने पुलिस से कहा कि उसने तैश में आकर एेसा किया. क्योंकि वह किसान आंदोलन के बारे में उल्टा-सीधा बोलने लगा था. इसके बाद उसने पास पड़ी पेट्रोल की बोतल उस पर उड़ेल कर आग लगा दी. अदालत ने कृष्ण को एक दिन के पुलिस रिमांड पर भेज दिया है.
जींद निवासी आरोपी कृष्ण करीब 10 दिन से आंदोलन में शामिल था. वहीं, कसार गांव का मुकेश भी आता और किसानों के साथ बैठकर शराब पीता था. सेक्टर-6 थाना प्रभारी जयभगवान के अनुसार बुधवार शाम भी मुकेश ने कृष्ण, संदीप और दो अन्य लोगों के साथ शराब पी. कृष्ण ने पूछताछ में बताया कि उसी दौरान मुकेश ने किसान आंदोलन के संबंध में कुछ गलत शब्दों का इस्तेमाल किया. इसी से वह तैश में आ गया और यह घटना हुई.
वायरल वीडियो जांच में शामिल : थाना प्रभारी ने दावा किया कि जल्द ही अन्य आरोपियों को भी गिरफ्तार कर लिया जाएगा. उन्होंने बताया कि पेट्रोल पंप की सीसीटीवी कैमरे कई दिन से खराब हैं लेकिन तकनीकी लोगों की मदद से उसमें मौजूद डाटा जुटाया जाएगा. पुलिस ने मुकेश की मौत से पहले अस्पताल में लोगों द्वारा बनाई गई वीडियो को सबूत के तौर पर जांच में शामिल कर लिया गया है.
आरोपी का बेटा बोला- साजिश के तहत फंसाया : आरोपी 50 वर्षीय कृष्ण का बड़ा बेट कर्मवीर स्नातक अंतिम वर्ष का छात्र है. उसने कहा कि कोई साजिश होगी जिसमें उसके पिता को फंसाया गया है. परिवार के दूसरे लोगों का कहना है कि उनके पास आए एक वीडियो में मरने वाला व्यक्ति खुद आग लगाने की बात कह रहा है. परिवार के लोगों का कहना है कि कृष्ण का आज तक गांव में भी किसी के साथ झगड़ा नहीं हुआ है. ऐसे में वह इतना बड़ा कदम कैसे उठा सकता है.
बड़ा षड्यंत्र, होना चाहिए खुलासा : कर्मवीर ने कहा कि उसके पिता एक सप्ताह पहले ही किसान आंदोलन में गए थे. गांव से लोग जाते रहते हैं लेकिन वहां नहीं रहते. अधिकतर लोग खटकड़ धरने तक ही समिति हैं. वहीं से दिल्ली जाने वाला कोई मिल गया था उसके साथ चले गए थे. उसका कहना है कि मामला किसान आंदोलन को बदनाम करने का षड्यंत्र है.