राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार तय करने के लिए शरद पवार ने बुलाई विपक्ष की बैठक, ममता बनर्जी नहीं होंगी शामिल

भारत में राष्ट्रपति चुनाव की नामांकन प्रक्रिया जारी है, लेकिन अभी तक विपक्ष और सत्तापक्ष के उम्मीदवारों के नामों की घोषणा नहीं की गई है. भाजपा की प्रबंधन टीम और विपक्ष की ओर से बैठक की जा रही है. एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार ने मंगलवार को विपक्ष की बैठक बुलाई है, जिसमें ममता बनर्जी भाग नहीं लेंगी.

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 20, 2022 11:50 AM
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नई दिल्ली : राष्ट्रपति चुनाव का उम्मीदवार तय करने के लिए मंगलवार 21 जून 2022 को विपक्षी पार्टियों की बैठक आयोजित होने की संभावना है. यह बैठक राष्ट्रवादी कांग्रेस (एनसीपी) सुप्रीमो शरद पवार की ओर से बुलाई गई है, लेकिन इस बैठक में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी शामिल नहीं होंगी. हालांकि, शरद पवार की ओर से आयोजित इस बैठक में तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) का कोई वरिष्ठ पदाधिकारी शामिल हो सकता है.

टीएमसी का कोई नेता रहेगा मौजूद

तृणमूल कांग्रेस के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने कहा कि ममता बनर्जी पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के कारण बैठक में शामिल नहीं हो पाएंगी. उन्होंने शरद पवार जी को भी बता दिया है, लेकिन हमारी पार्टी का एक नेता वहां मौजूद रहेगा. आगामी राष्ट्रपति चुनाव की रणनीति तैयार करने के लिए 15 जून को दिल्ली में बनर्जी द्वारा बुलाई गई इस तरह की पहली बैठक में यह निर्णय लिया गया था कि देश के लोकतांत्रिक मूल्यों को बकरार रखने वाला एक साझा उम्मीदवार विपक्ष के उम्मीदवार के रूप में चुना जाएगा.

15 जून की बैठक में 17 दलों ने लिया था भाग

राष्ट्रपति चुनाव के प्रत्याशी के चयन के लिए 15 जून को ममता बनर्जी की ओर से दिल्ली में बुलाई गई बैठक में करीब 17 दलों ने भाग लिया था. इसमें कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी), द्रविड़ मुनेत्र कषगम (डीएमसी), राष्ट्रीय जनता दल (राजद) और वाम दलों के नेता इस बैठक में शरीक हुए, जबकि आम आदमी पार्टी (आप), तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस), शिरोमणि अकाली दल (शिअद), एआईएमआईएम और बीजू जनता दल (बीजद) ने इससे दूरी बनाए रखना मुनासिब समझा. शिवसेना, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा), मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा), भाकपा-माले, नेशनल कॉन्फ्रेंस, पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी), जनता दल (सेक्यूलर), रिवोल्यूशनरी सोशलिस्ट पार्टी (आरएसपी), इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग, राष्ट्रीय लोकदल और झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेता भी बैठक में शरीक हुए.

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18 जुलाई को होगा राष्ट्रपति चुनाव का मतदान

मौजूदा राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद का कार्यकाल 24 जुलाई को समाप्त हो रहा है और उनके उत्तराधिकारी के लिए 18 जुलाई को चुनाव होना है. राष्ट्रपति का चुनाव निर्वाचक मंडल के सदस्यों द्वारा किया जाता है, जिसमें संसद के दोनों सदनों के निर्वाचित सदस्य और दिल्ली तथा केंद्रशासित प्रदेश पुडुचेरी सहित सभी राज्यों की विधानसभाओं के निर्वाचित सदस्य होते हैं. राज्यसभा और लोकसभा या राज्यों की विधानसभाओं के मनोनीत सदस्य निर्वाचक मंडल में शामिल होने के पात्र नहीं हैं. इसलिए वे चुनाव में भाग लेने के हकदार नहीं होते. इसी तरह विधान परिषदों के सदस्य भी राष्ट्रपति चुनाव के लिए मतदाता नहीं होते हैं. लगभग 10.86 लाख मतों के निर्वाचक मंडल में भाजपा के नेतृत्व वाले गठबंधन के पास 48 फीसदी से अधिक मत होने का अनुमान है और उसे कुछ क्षेत्रीय दलों से समर्थन मिलने की उम्मीद है.

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