Lockdown Update : लॉकडाउन के बाद कैसे खुलेंगी फैक्ट्रियां, केंद्र सरकार ने जारी की ये गाइडलाइंस
Lockdown: गृह मंत्रालय ने रविवार को लॉकडाउन के बाद विनिर्माण उद्योगों को फिर से शुरू करने के लिए दिशानिर्देश जारी किया है.
नयी दिल्ली : केंद्र सरकार ने रविवार को लॉकडाउन के बाद विनिर्माण उद्योगों को फिर से शुरू करने के लिए दिशानिर्देश जारी किया है. दिशानिर्देश जारी करते हुए कहा गया है कि यूनिट को फिर से शुरू करते समय, पहले सप्ताह को ट्रायल या टेस्ट रन पीरियड के रूप में मानें. सभी सुरक्षा और प्रोटोकॉल सुनिश्चित करें. बहुत ज्यादा उत्पादन का लक्ष्य प्राप्त करने का प्रयास न करें.
Ministry of Home Affairs (MHA) issues guidelines for restarting manufacturing industries after lockdown. "While restarting the unit, consider the first week as the trial or test run period; ensure all safety & protocols, & don't try to achieve high production targets", says MHA. pic.twitter.com/WC1l55LkVx
— ANI (@ANI) May 10, 2020
विशाखापत्तनम में एक फैक्ट्री में गैस रिसाव की घटना के बाद राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एनडीएमए) ने लॉकडाउन के बाद उद्योगों को फिर से खोलने और कामगारों के साथ-साथ संयंत्रों की सुरक्षा के लिए उठाए जाने वाले एहतियाती कदमों के लिए विस्तार से दिशानिर्देश जारी किये हैं. सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को भेजे संदेश में एनडीएमए ने कहा कि कई हफ्तों तक लॉकडाउन और उद्योग बंद रहने के कारण ऐसा हो सकता है कि कुछ संचालक पहले से स्थापित मानक संचालन प्रक्रियाओं (एसओपी) का पालन नहीं कर रहे हों. ऐसे में हो सकता है कि कुछ विनिर्माण संयंत्रों, पाइपलाइन, वॉल्व आदि में कुछ रसायन बचा हो जिससे जोखिम पैदा हो सकता है. कुछ यही बात नुकसान पहुंचाने वाले रसायनों और आग पकड़ने वाली सामग्री की भंडारण सुविधाओं के साथ भी लागू होती है.
एनडीएमए के दिशानिर्देशों में कहा गया है कि उद्योगों के संचालन संबंधी सुरक्षा के सभी प्रोटोकॉल सुनिश्चित करने के बाद पहले हफ्ते में प्रायोगिक तौर पर काम शुरू किया जाना चाहिए. इसमें कहा गया है कि कंपनियों को लॉकडाउन के बाद पहले ही हफ्ते से अधिक उत्पादन के लक्ष्यों को हासिल करने की कोशिश नहीं करनी चाहिए. कारखाना परिसरों को चौबीसों घंटे सैनिटाइज रखन चाहिए.
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दिशानिर्देशों में कहा गया है कि कारखाना परिसरों को प्रत्येक दो-तीन घंटे बाद सैनिटाइज किया जना चाहिए. विशेष रूप से भोजन के स्थल और मेजों को. प्रत्येक बार इस्तेमाल के बाद इन्हें कीटाणुनाशक से साफ किया जाना चाहिए. इसके अलावा कामगारों के रहने के स्थान को नियमित रूप से सैनिटाइज किया जाना चाहिए जिससे उनकी सुरक्षा सुनिश्चित हो सके. जोखिम को कम करने के लिए यह जरूरी है कि कर्मचारी जिन विशेष उपकरणों पर काम कर रहे हैं उन्हें सैनिटाइज किया जाए। साथ ही उन्हें किसी असामान्य स्थिति मसलन आवाज या दुर्गंध, लीकेज या किसी तरह की कंपन आदि के बारे में जागरूक किया जाए.