आम आदमी पार्टी ने किसानों के भारत बंद पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि किसान आंदोलन इतिहास रच रहा है, इसीलिए सरकार घबराई हुई है. पार्टी मुख्यालय से जारी बयान में आप नेता और विधानसभा में नेता विपक्ष हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि मोदी सरकार किसानों के धैर्य की परीक्षा लेना बंद करे और किसान संगठनों की सारी मांग तुरंत स्वीकार करे. उन्होंने कहा कि किसान आंदोलन भारत के इतिहास में सुनहरे अक्षरों में दर्ज हो गया है.
यह भारत ही नहीं दुनिया का सबसे ज्यादा दिन चलने वाला जनआंदोलनों में से एक बन गया है. मोदी सरकार ने आंदोलन को कुचलने की हर संभव गैरलोकतांत्रिक कोशिश की, लेकिन देश के किसान शांतिपूर्ण ढ़ंग से प्रदर्शन करते रहें. उन्होंने कहा कि मोदी सरकार और विभिन्न राज्यों की बीजेपी सरकारों की तानाशाही और क्रूरता के बावजूद जिस तरह से किसानों ने इतने दिनों तक शांति और सहनशीलता का परिचय दिया वह अपने आप में एक बड़ा मिशाल है. यह आंदोलन दुनिया भर के आंदोलनकारियों और सामाजिक कार्यकर्ताओं के लिए प्रेरणा का स्त्रोत बन गया है.
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उन्होंने कहा कि किसानों के भारत बंद को देश के हर वर्ग के लोगों ने समर्थन किया, चाहे वह व्यापारी वर्ग हो, या मजदूर, दुकानदार हो या ट्रांसपोर्टर सबने बंद का समर्थन किया. अब यह आंदोलन सिर्फ किसानों का नहीं रहा, अब यह देश के हर वर्ग के लोगों का आंदोलन बन गया है.
उन्होंने कहा कि यह बहुत दुर्भाग्य की बात है कि देश के अन्नदाता 120 दिन से मोदी सरकार के कृषि कानूनों के सडक़ों पर आंदोलन कर रहे हैं और प्रधानमंत्री मोदी और बीजेपी के सारे बड़े नेता बंगाल चुनाव के प्रचार में व्यस्त है. मोदी सरकार ने बेशर्मी की सारी हदें पार कर दी है. मोदी-शाह को सत्ता का नशा चढ़ गया है. सत्ता के नशे में बीजेपी को इतना अहंकार हो गया है कि वह देश का पेट भरने वाले किसानों के पेट पर लात मार रही है. लेकिन जनता सब देख रही है. जल्द ही मोदी सरकार को देश की जनता उखाड़ फेंकेगी.
उन्होंने कहा कि आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने किसानों के साथ भारत बंद में शामिल हुए. आप कार्यकर्ताओं ने बिना कोई पार्टी के झंडे और बैनर के किसान बनकर भारत बंद में शामिल हुए और बंदी का समर्थन किया. आम आदमी पार्टी प्रत्यक्ष और अप्रतयक्ष दोनों रुप से किसानों के साथ खड़ी है. हम आंदोलन को मजबूत बनाने का हरसंभव प्रयास कर रहे हैं.
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किसान आंदोलन के बढ़ते स्वरूप को देखकर मोदी सरकार घबरा गई है. मोदी सरकार को अब समझ नहीं आ रहा है कि क्या किया जाए. हमें उम्मीद है कि जल्द ही किसानों की जीत होने वाली है. मोदी सरकार को किसानों के हौसले और हिम्मत के सामने झुकना पड़ेगा और उनकी सारी मांगों को मानना पड़ेगा.