Loading election data...

मध्य प्रदेश कैबिनेट विस्तार से कांग्रेस का मुद्दा बीजेपी ने छीना? ज्योतिरादित्य सिंधिया का दबदबा कायम

मध्य प्रदेश में 28 मंत्रियों ने शपथ ले लिया है. जहां लोकसभा चुनाव 2024 को ध्यान में रखते हुए जातीय समीकरण साधने का प्रयास बीजेपी के द्वारा किया गया है. वहीं ज्योतिरादित्य सिंधिया का दबदबा कायम नजर आ रहा है.

By Amitabh Kumar | December 26, 2023 8:28 AM
an image

विधानसभा चुनाव में शानदार जीत दर्ज करने के बाद बीजेपी की नजर लोकसभा चुनाव पर है. यही वजह है कि पार्टी ने मध्य प्रदेश में मोहन यादव के नेतृत्व वाली बीजेपी सरकार में जिन 28 विधायकों को मंत्री पद की शपथ दिलाई गई उसमें जातीय समीकरण को साधने की कोशिश की गई. दरअसल, शपथ लेने वाले मंत्रियों में से 12 ओबीसी वर्ग से आते हैं. वहीं सात विधायक सामान्य वर्ग से जबकि पांच एसटी वर्ग से आते हैं जिन्हें मंत्री बनाया गया है. यही नहीं चार विधायक एसटी वर्ग से हैं. आपको बता दें कि मोहन यादव खुद ओबीसी वर्ग से संबंध रखते हैं. इसके साथ ही मध्य प्रदेश की नई सरकार में ओबीसी नेताओं की संख्या 13 हो चुकी है. कांग्रेस नेता राहुल गांधी चुनाव के पहले ओबीसी वर्ग को लेकर लगातार केंद्र सरकार पर हमलावर थे. मध्य प्रदेश के नए मंत्रिमंडल के माध्यम से एक तरह से बीजेपी ने विपक्ष का एक और मुद्दा छिनने का प्रयास किया है.

ज्योतिरादित्य सिंधिया का दबदबा आया नजर

इसके इतर, इस बार की कैबिनेट में कांग्रेस का दामन छोड़कर बीजेपी में आए ज्योतिरादित्य सिंधिया का दबदबा देखने को मिला है. वजह पर नजर डालें तो, सिंधिया के करीबी ऐदल सिंह कंसाना, गोविंद राजपूत, प्रद्युम्न सिंह तोमर और तुलसीराम सिलावट को कैबिनेट में जगह दी गई है. ये सभी मार्च 2020 में कांग्रेस छोड़कर सिंधिया के साथ बीजेपी में शामिल हुए थे और लगातार अपने क्षेत्र में मेहनत कर रहे थे. इनमें से तुलसीराम सिलावट जो हैं वो सिंधिया के बेहद करीबी हैं. प्रद्युम्न सिंह तोमर और तुलसी सिलावट पिछली शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व वाली सरकार में भी मंत्री के पद पर काबिज थे.

Also Read: क्या ज्योतिरादित्य सिंधिया बनेंगे मध्य प्रदेश के अगले सीएम? जानें इस सवाल का क्या मिला जवाब

उल्लेखनीय है कि 28 विधायकों को सोमवार को मुख्यमंत्री मोहन यादव के नेतृत्व वाले मध्यप्रदेश मंत्रिमंडल में शामिल किया गया. कुल 18 विधायकों ने कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली, वहीं 10 अन्य ने राज्य मंत्री के रूप में शपथ ली, जिनमें छह स्वतंत्र प्रभार वाले मंत्री शामिल हैं. नई कैबिनेट में 17 नए चेहरे देखने को मिले. 28 मंत्रियों में से पांच महिलाएं हैं, 12 ओबीसी समुदाय से हैं, पांच आदिवासी हैं और चार अन्य अनुसूचित जाति (एससी) वर्ग से हैं.

नए मंत्रियों को पहचाने

मध्य प्रदेश में जिन विधायकों को कैबिने मंत्री के तौर पर पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाने का काम किया गया, उनमें विजय शाह, कैलाश विजयवर्गीय, प्रह्लाद पटेल, करण सिंह वर्मा, राकेश सिंह, उदय प्रताप सिंह , संपतिया उइके, तुलसीराम सिलावट, ऐदल सिंह कंसाना, गोविंद सिंह राजपूत, विश्वास सारंग, निर्मला भूरिया, नारायण सिंह कुशवाहा, नागर सिंह चौहान, प्रद्युम्न सिंह तोमर, राकेश शुक्ला, चैतन्य कश्यप और इंदर सिंह परमार शामिल हैं. वहीं स्वतंत्र प्रभार वाले राज्य मंत्रियों की लिस्ट पर नजर डालें तो इसमें कृष्णा गौर, धर्मेंद्र लोधी, दिलीप जयसवाल, गौतम टेटवाल, लाखन पटेल और नारायण सिंह पवार का नाम शामिल हैं. राज्य मंत्री पद की शपथ लेने वाले विधायकों में नरेंद्र शिवाजी पटेल, प्रतिमा बागरी, दिलीप अहिरवार और राधा सिंह का नाम शामिल है.

Exit mobile version