Uddhav vs Shinde : भगत सिंह कोश्यारी ने कहा, सोच-समझकर उद्धव ठाकरे को बहुमत हासिल करने को कहा

सुप्रीम कोर्ट ने सर्वसम्मति से अपने फैसले में कहा कि पिछले साल 30 जून को महाराष्ट्र विधानसभा में बहुमत साबित करने के लिए राज्यपाल द्वारा तत्कालीन मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को बुलाना सही नहीं था. इस बारे में पूछे जाने पर कोश्यारी ने कहा कि मैं राज्यपाल पद से मुक्त हो चुका हूं.

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 11, 2023 9:20 PM
an image

नई दिल्ली : महाराष्ट्र के पूर्व राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने गुरुवार को कहा कि वह कानून के विशेषज्ञ तो नहीं, लेकिन संसदीय व विधायी परंपराओं के जानकार जरूर हैं और उन्होंने पिछले साल जून में इस संवैधानिक पद पर रहते हुए ‘सोच समझ’ कर तत्कालीन मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को सदन में विश्‍वास मत हासिल करने को कहा था. भगत सिंह कोश्यारी ने महाराष्ट्र में पिछले साल शिवसेना के एकनाथ शिंदे गुट की बगावत के बाद उद्धव ठाकरे नीत महा विकास आघाड़ी (एमवीए) सरकार गिरने और उसके कारण उत्पन्न राजनीतिक संकट से जुड़ी अनेक याचिकाओं पर उच्चतम न्यायालय के आज आए फैसले पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए यह बात कही.

कोर्ट के फैसले पर कानूनविद देंगे राय

सुप्रीम कोर्ट ने सर्वसम्मति से अपने फैसले में कहा कि पिछले साल 30 जून को महाराष्ट्र विधानसभा में बहुमत साबित करने के लिए राज्यपाल द्वारा तत्कालीन मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को बुलाना सही नहीं था. इस बारे में पूछे जाने पर कोश्यारी ने यहां पत्रकारों से बातचीत में कहा कि मैं राज्यपाल पद से मुक्त हो चुका हूं. तीन महीने हो चुके हैं. राजनीतिक मसलों से मैं अपने को बहुत दूर रखता हूं. जो मसला सुप्रीम कोर्ट में था, उस पर अदालत ने अपना निर्णय दे दिया है. उस निर्णय पर जो कानूनविद हैं, वहीं अपनी राय व्यक्त करेंगे.

किसी ने इस्तीफा दे दिया, तो फिर क्या कहता?

महाराष्ट्र के पूर्व राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने कहा कि मैं चूंकि कानून का विद्यार्थी हूं नहीं, मैं केवल संसदीय परंपराएं जानता हूं. विधायी परंपराएं जानता हूं. उस हिसाब से जो मैंने जो भी कदम उठाए, सोच समझ कर उठाए. उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले की व्याख्या और विवेचना करना कानूनविदों का काम है. उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने सही कहा या गलत, यह मेरा काम नहीं है. यह समीक्षकों का काम है और जब किसी का इस्तीफा मेरे पास आ गया, तो मैं क्या कहता कि तुम मत दो इस्तीफा?

Also Read: महाराष्ट्र सरकार को लेकर SC के फैसले के बाद हमलावर हुई कांग्रेस, कहा – भाजपा के लिए नैतिक तमाचा

राज्यपाल का फैसला सही : सुप्रीम कोर्ट

बताते चलें कि सर्वोच्च अदालत ने महाराष्‍ट्र विकास आघाड़ी (एमवीए) सरकार को बहाल करने से इनकार कर दिया. अदालत ने कहा कि उद्धव ठाकरे ने स्‍वेच्‍छा से राज्‍य के मुख्‍यमंत्री पद से इस्‍तीफा दिया था. अदालत ने यह भी कहा कि चूंकि ठाकरे ने सदन में विश्‍वास मत का सामना नहीं किया और त्‍यागपत्र दे दिया, इसलिए सबसे बड़ी पार्टी भारतीय जनता पार्टी के समर्थन से एकनाथ शिंदे को शपथ दिलाने का राज्‍यपाल का फैसला सही था.

Exit mobile version