NITI Aayog Meeting: दिल्ली में आज नीति आयोग की बैठक होनी है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस बैठक की अध्यक्षता करेंगे. प्राप्त जानकारी के अनुसार बैठक में विकसित भारत से जुड़े कई मुद्दों और दृष्टिकोण पत्र पर चर्चा होगी. इस बैठक का उद्देश्य केंद्र एवं राज्य सरकारों के बीच सहभागी संचालन तथा सहयोग को बढ़ावा देना के साथ-साथ वितरण तंत्र को मजबूत करके ग्रामीण और शहरी दोनों आबादी के लिए जीवन की गुणवत्ता को बढ़ाना है. नीति आयोग की शीर्ष संस्था शासी परिषद में सभी राज्यों के मुख्यमंत्री, केंद्र शासित प्रदेशों के उप राज्यपाल और कई केंद्रीय मंत्री शामिल होते हैं. इस बैठक में कई राज्यों के मुख्य्मंत्री और राज्यपाल शामिल होंगे. बताते चलें कि INDI Alliance ने इस बैठक का बहिस्कार किया है.
इन राज्यों के मुख्यमंत्री नहीं लेंगे बैठक में हिस्सा
विपक्षी दलों के गठबंधन ने इस बैठक का बहिस्कार किया है. प्राप्त जानकारी के अनुसार जिन राज्यों के मुख्य्मंत्री बैठक में भाग नहीं ले रहे हैं उनमें तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन, हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुखू, कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया, तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी, पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान, केरल के मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन, पुडुचेरी के मुख्यमंत्री एन. रंगासामी शामिल हैं.
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ये मुख्यमंत्री ले रहे है बैठक में भाग
नीति आयोग की इस बैठक में शामिल होने वाले मुख्यमंत्री हैं, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, अरुणाचल के मुख्यमंत्री पेमा खांडू, अरुणाचल के उप मुख्यमंत्री चौना मीन, त्रिपुरा के मुख्यमंत्री माणिक साहा, असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा, ओडिशा के मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी, छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव सहाय, गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेन्द्र पटेल, राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा एवं मेघालय के मुख्यमंत्री कॉनराड संगमा आदि नेता बैठक में हिस्सा ले रहे है. बता दें कि इन नेताओं के साथ साथ इस मीटिंग पश्चिम बंगाल के मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के शामिल होने की संभावना है.
भारत को मजबूत बनाने में बुनियादी सुविधाएं बेहतर करने पर होगी चर्चा
नीतिआयोग कि इस बैठक का उद्देश्य भारत बुनियादी सुविधाओं को बेहतर करना होगा. इसके साथ ही 2047 तक भारत को विकसित देश बनाने की तरफ आगे बढ़ाना होगा. भारत के सपने को @2047 पर विज़न डॉक्यूमेंट के लिए ‘एप्रोच पेपर’ पर चर्चा की जाएगी और इस लक्ष्य को प्राप्त करने में राज्यों की भूमिका पर विस्तृत विचार-विमर्श किया जाएगा.
भारत सरकार द्वारा जारी एक बयान में कहा गया है कि , “सम्मेलन के दौरान, पाँच प्रमुख विषयों पर सिफारिशें की गईं है जिनमें: पीने का पानी: पहुँच, मात्रा और गुणवत्ता; बिजली: गुणवत्ता, दक्षता और विश्वसनीयता; स्वास्थ्य: पहुँच, सामर्थ्य और देखभाल की गुणवत्ता; स्कूली शिक्षा: पहुँच और गुणवत्ता; और भूमि और संपत्ति: पहुँच, डिजिटलीकरण, पंजीकरण और म्यूटेशन.
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