Farm Laws Repeal: कृषि कानूनों के खिलाफ एक साल से प्रदर्शन कर रहे किसानों ने अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को एक खुला खत लिखा है. इस खत के जरिये किसानों ने अपनी 6 मांगें सरकार के सामने रखी हैं. इसमें वार्ता को फिर से बहाल करने, किसान आंदोलन के दौरान जिन किसानों की मौत हुई, उनके परिवार को पुनर्वास सहायता, मुआवजा की मांग शामिल है.
नयी दिल्ली के सिंघु बॉर्डर पर संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) की बैठक के बाद किसानों ने रविवार को पीएम मोदी के नाम जो खुला खत लिखा है, उसमें कहा है कि सरकार को तुरंत किसानों से वार्ता बहाल करनी चाहिए. जब तक वार्ता बहाल नहीं होगी, तब तक उनका आंदोलन जारी रहेगा. यह भी मांग की है कि कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन के दौरान किसानों के खिलाफ दर्ज मामले तुरंत वापस लिए जाने चाहिए.
प्रधानमंत्री को लिखे खुले पत्र में एसकेएम ने कहा कि आपके संबोधन में किसानों की प्रमुख मांगों पर ठोस घोषणा की कमी के कारण किसान निराश हैं. किसानों की मांग है कि कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन के दौरान किसानों के खिलाफ दर्ज सभी मामले तुरंत वापस लिये जाने चाहिए.
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किसानों ने यह भी कहा है कि आंदोलन के दौरान जितने भी किसानों की मौत हुई है, उन सभी के निकट परिजनों को मुआवजा मिलना चाहिए. उनके परिवार का पुनर्वास करने की भी व्यवस्था केंद्र सरकार को करनी चाहिए.
उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दो दिन पहले ही घोषणा की है कि केंद्र सरकार संसद से पारित तीनों कृषि कानूनों को वापस लेगी. 24 नवंबर (बुधवार) को होने वाली केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में इससे संबंधित प्रस्ताव को पास किये जाने की उम्मीद जतायी जा रही है.
Posted By: Mithilesh Jha