नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को मध्य प्रदेश के भोपाल में भाजपा की ओर से आयोजित ‘मेरा बूथ सबसे मजबूत’ कार्यक्रम में समान नागरिक संहिता (यूसीसी) के मुद्दे पर विपक्ष पर हमला किया, तो भारत की राजनीति गरमा गई. अब यूसीसी को लेकर पूरा विपक्ष टूट पड़ा है और विभिन्न राजनीतिक दलों के नेता अनेक प्रकार से पलटवार कर रहे हैं. कोई प्रधानमंत्री मोदी और केंद्र की सरकार को बेरोजगारी, गरीबी, महंगाई और मणिपुर हिंसा की याद दिला रहा है, तो कोई भारतीय संविधान के अनुच्छेद-29 में उल्लिखित मौलिक अधिकार की बात कर रहा है.
60 दिनों से जल रहा है मणिपुर : कांग्रेस
मध्य प्रदेश के भोपाल में समान नागरिक संहिता पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की टिप्पणी पर पलटवार करते हुए कांग्रेस के महासचिव केसी वेणुगोपाल ने कहा कि वे (प्रधानमंत्री मोदी) बरोजगारी, गरीबी, मंहगाई और हिंसाग्रस्त मणिपुर के हालात पर बात क्यों नहीं करते हैं. उन्होंने कहा कि मणिपुर 60 दिनों से जल रहा है और उन्होंने मणिपुर में शांति स्थापित करने के लिए एक बार भी अपील नहीं की. इन सभी मुद्दों से ध्यान भटकाने के लिए प्रधानमंत्री मोदी ऐसी बातें कर रहे हैं.
इस्लाम में शादी एक कांन्ट्रैक्ट है : असदुद्दीन ओवैसी
वहीं, एआईएमआईएम के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने हैदराबाद में कहा कि प्रधानमंत्री को पाकिस्तान से इतनी मोहब्बत क्यों है? उन्हें अपनी सोच का सॉफ्टवेयर बदलना चाहिए. भारत के मुसलमान को पाकिस्तान और मिस्र से क्या करना है? आप क्या उन्हें बड़ा और हमें कम समझ रहे हैं क्या? यह तो देश विरोधी बात है. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री को यह समझने की जरूरत है कि अनुच्छेद 29 एक मौलिक अधिकार है. मुझे लगता है कि प्रधानमंत्री को यह समझ नहीं आया. संविधान में धर्मनिरपेक्षता की बात है. इस्लाम में शादी एक कॉन्ट्रैक्ट है, हिंदुओं में जन्म-जन्म का साथ है. क्या आप सबको मिला देंगे? भारत की विविधता को वे एक समस्या समझते हैं.
संविधान को बदलने नहीं देंगे : मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड
इसके अलावा, समान नागरिक संहिता पर प्रधानमंत्री मोदी की टिप्पणी के जवाब में कांग्रेस नेता और ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के कार्यकारी सदस्य आरिफ मसूद ने कहा कि प्रधानमंत्री को याद रखना चाहिए कि उन्होंने डॉ बाबासाहेब अंबेडकर द्वारा तैयार किए गए संविधान की शपथ ली है. देश के सभी वर्गों को संविधान पर भरोसा है और वे इसे बदलने नहीं देंगे.
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वोट बैंक के लिए धार्मिक ध्रुवीकरण की राजनीति : केसी त्यागी
उधर, जनता दल यूनाइटेड (जदयू) के नेता केसी त्यागी ने कहा कि यह (समान नागरिक संहिता) एक ऐसा विषय है, जिस पर सभी राजनीतिक दलों और सभी हितधारकों को बात करनी चाहिए. भाजपा सिर्फ वोट बैंक की राजनीति करती है, जिससे धार्मिक ध्रुवीकरण हो. वहीं, बिहार सरकार के मंत्री विजय कुमार चौधरी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा गठित विधि आयोग ने विचार कर जो रिपोर्ट दी, उसमें उन्होंने समान नागरिक संहिता को सही नहीं बताया है. रिपोर्ट में कहा गया है कि इस देश में इसकी आवश्यकता नहीं है.