लॉकडाउन 4.0: कहां और कैसे खर्च होगा 20 लाख करोड़ का ‘महापैकेज’, शाम 4 बजे बताएंगी वित्त मंत्री

कोरोनावायरस संकट के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को देश के नाम संबोधन के दौरान 20 लाख करोड़ के आर्थिक पैकेज की घोषणा कर दी.पूरा ब्यौरा सामने आने के बाद ही तय हो पाएगा कि देश को, अर्थव्यवस्था को, उद्योग और व्यापार को, गरीबों और किसानों को और नौकरीपेशा या अपने कारोबार में लगे मध्य वर्ग को इतिहास के इस सबसे बड़े पैकेज से क्या मिलने जा रहा है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 13, 2020 11:40 AM

कोरोनावायरस संकट के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को देश के नाम संबोधन के दौरान 20 लाख करोड़ के आर्थिक पैकेज की घोषणा कर दी. आज शाम चार बजे केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण बताएंगी कि किन-किन क्षेत्रों को कितनी राशि दी जाएगी और इस राशि का इस्तेमाल कैसे किया जाएगा. इस पैकेज का पूरा ब्यौरा सामने आने के बाद ही तय हो पाएगा कि देश को, अर्थव्यवस्था को, उद्योग और व्यापार को, गरीबों और किसानों को और नौकरीपेशा या अपने कारोबार में लगे मध्य वर्ग को इतिहास के इस सबसे बड़े पैकेज से क्या मिलने जा रहा है.

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20 लाख करोड़ रुपए का ये पैकेज भारत की जीडीपी का करीब 10 फीसदी हिस्सा है. कहा जा रहा है कि इसके जरिए देश के विभिन्न वर्गों और आर्थिक कड़ियों को जोड़ने में बल मिलेगा. 20 लाख करोड़ रुपए के पैकेज की घोषणा के बाद भारत दुनिया के उन चुनिंदा देशों की लिस्ट में शामिल हो गया है जिसने जीडीपी का बड़ा हिस्सा दिया. जापान, अमेरिका, स्वीडन और जर्मनी ने ऐसा किया है. दुनिया में अपनी जीडीपी के सबसे बड़े आर्थिक पैकेज के घोषणा जापान ने की है. कोरोना महामारी को देखते हुए जापान ने अपनी जीडीपी के 21.1 फीसदी हिस्से के आर्थिक पैकेज का ऐलान किया है. वहीं, दूसरे नंबर पर अमेरिका हैं जिसने अपनी जीडीपी के 13 फीसदी हिस्‍से के बराबर आर्थिक पैकेज की घोषणा की है.

विपक्ष की ओर से प्रतिक्रियाएं

पीएम मोदी के ऐलान के साथ ही विपक्ष की ओर से प्रतिक्रियाएं भी आने लगीं. कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि आज भारत माता रो रही है. पीएम मोदी के संबोधन के दौरान ही कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने एक वीडियो ट्वीट कर कहा कि आज भारत माता रो रही है. राहुल गांधी ने मांग की कि पीएम मोदी सड़कों पर चलते हमारे लाखों श्रमिक भाइयों-बहनों को उनके घरों तक सुरक्षित पहुंचाने का इंतजाम करें. इसके साथ ही इस संकट के समय में सहारा देने के लिए उन सभी के खातों में कम से कम 7500 रुपये सीधा ट्रांसफर करें. कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने पीएम मोदी के इस ऐलान की तारीफ की. पीएम की ओर से किए गए 20 लाख करोड़ का पैकेज क्या राज्यों की समस्याओं का निवारण कर देगा. उन्होंने कहा- कोई भी आर्थिक मदद मिलना अच्छी बात है. लेकिन बहुत जल्दबाजी होगा बोलना कि इस पैसे का कैसे इस्तेमाल होगा.

उद्योग जगत ने सराहा

पीएम मोदी के इस ऐलान के बाद उद्योग जगत ने 20 लाख करोड़ रुपए के प्रोत्साहन पैकेज की घोषणा समय की जरूरत थी. उद्योग मंडलों का कहना है कि इससे कोविड-19 महामारी और उसकी रोक थाम के लिए लागू पाबंदियों से प्रभावित अर्थव्यवस्था के पुनरूद्धार में मदद मिलेगी और आर्थिक वृद्धि को नई गति मिलेगी.फिक्की की अध्यक्ष संगीता रेड्डी ने कहा कि पांच आधार…अर्थव्यवस्था, बुनियादी ढांचा, व्यवस्था, जनसंख्या और मांग को मजबूत करने से भारत फिर से सतत वृद्धि के रास्ते पर आएगा.

उन्होंने कहा कि भारत को आत्मनिर्भर बनाने के लिए जमीन, श्रम और नकदी पर जोर की जरूरत है. एसोचैम के महासचिव दीपक सूद ने कहा, भारत को आत्मनिर्भर बनाने के लिये पांच बुनियाद को मजबूत बनाने से हम एक भेरसेमंद वैश्विक ताकत बनेंगे. वहीं पीएचडी चैंबर ऑफ कामर्स एंड इंडस्ट्री के अध्यक्ष डी के अग्रववाल ने कहा कि इस मौके पर प्रोत्साहन पैकेज समय की जरूरत है. इससे अर्थव्यवस्था के बुनियाद को मजबूती मिलेगी और आर्थिक गतिविधियां तेज होंगी. देश और दुनिया से जुड़ी हर Hindi News से अपडेट के लिए बने रहें हमारे साथ.

तो मात्र 10 लाख करोड़ …

केंद्र सरकार पहले ही पौने दो लाख करोड़ रुपए अपने खाते से खर्च का ऐलान कर चुकी है. साथ ही आरबीआई के जरिए भी उसने आठ लाख करोड़ रुपए बाजार में डालने का इंतजाम किया है. दोनों जोड़ लें तो लगभग दस लाख करोड़ रुपए का ऐलान पहले किया जा चुका है और पैकेज का आधा हिस्सा यानी सिर्फ 10 लाख करोड़ रुपए और खर्च होना है.अभी यह देखना जरूरी है कि सरकार ने पहले के दस लाख करोड़ के ऊपर जो और 10 लाख करोड़ रुपए खर्च करने का एलान किया है वो कहां-कहां खर्च होने जा रहा है. यानी कितनी रकम किसे मिलेगी और वो आएगी कहां से. सबसे बड़ा सवाल ये है कि सरकार क्या नये रास्ते से पैसा जुटाएगी, नये नोट छापेगी, कर्ज उठाएगी, या फिर वो पहले से तय किसी खर्च को रोककर वो रकम इस पैकेज पर खर्च करने जा रही है.

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