भारत निर्वाचन आयोग ने 11 राज्यसभा सीटों के लिए चुनाव की तारीखों की घोषणा कर दी हैं. क्योंकि राज्यसभा के इन सदस्यों का कार्यकाल 25 नवंबर को समाप्त होने वाला है. 11 राज्यसभा सीटों में से 10 राज्यसभा की सीटों के लिए उत्तरप्रदेश में चुनाव होगा. जबकि उत्तराखंड में राज्यसभा की एक विधानसभा सीट के लिए चुनाव होगा. चुनाव आयोग के अनुसार 11 नवंबर से पहले इस प्रक्रिया को पूरा कर देना है.
निर्वाचन आयोग ने बताया कि सभी 11 राज्यसभा सीटों के लिए 9 नवंबर को मतदान होगा. इसी दिन मतगणना भी होगी. डॉ चंद्रपाल सिंह यादव, जावेद अली खान, अरूण सिंह, नीरज शेखर, पीएल पुनिया, हरदीप सिंह पुरी, रवि प्रकाश वर्मा, राजाराम, रामगोपाल यादव और वीर सिंह उत्तर प्रदेश के वो 10 सांसद हैं जिनका कार्यकाल 25 नवंबर को समाप्त हो रहा है. इसके साथ ही उत्तराखंड के एक राज्यसभा सांसद राजबब्बर का भी कार्यकाल इसी दिन खत्म हो रहा है.
राज्यसभा चुनाव के लिए 20 अक्टूबर को अधिसूचना जारी की जायेगी. 27 अक्टूबर तक नामांकन दाखिल करने की अंतिम तिथि रखी गयी है. 28 अक्टूबर 2020 को प्रत्याशियों की स्क्रूटनी की जायेगी. दो नवंबर 2020 तक प्रत्याशी अपने नाम वापस ले सकेंगे.
नौ नंवबर 2020 को मतदान होगा. मतदान सुबह 9 बजे से शाम चार बजे तक होगा. इसी दिन शाम पांच बजे मतगणना भी होगी. चुनाव आयोग ने कहा है कि 11 नवंबर तक मतदान की सारी प्रक्रिया समाप्त हो जायेगी.
वहीं मध्यप्रदेश में 28 सीटों पर होने वाले उपचुनाव को लेकर मध्यप्रदेश भाजपा के अध्यक्ष विष्णु दत्त शर्मा ने दावा कि पिछले सात माह में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की सरकार द्वारा कराये गये विकास कार्यों के आधार पर भाजपा प्रदेश में होने जा रहे उपचुनाव में सभी 28 सीटों पर विजय हासिल करेगी. उपचुनाव के तहत मध्यप्रदेश में 28 विधानसभा सीटों पर तीन नवंबर को मतदान तथा 10 नवंबर को मत गणना होगी.
शर्मा ने कहा कि मुख्यमंत्री चौहान ने प्रदेश के कुछ हिस्सों में हाल ही में आई बाढ़ जैसी अन्य चुनौतियों के साथ प्रदेश में कोविड-19 की महामारी के प्रकोप को नियंत्रित करने में भी अच्छा काम किया है. उन्होंने कहा कि भाजपा का चुनाव प्रचार कांग्रेस के 15 माह के शासन और मुख्यमंत्री चौहान के सात माह के कार्यकाल में कराये गये विकास कार्यों पर आधारित होगा. उन्होंने कहा कि अनुसूचित जाति/ अनुसूचित जनजाति/ अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) और मुस्लिम वर्ग जैसा परंपरागत कांग्रेस का मतदाता भी भाजपा की तरफ हो गया है तथा उपचुनाव में मायावती की अगुवाई वाली बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की मौजूदगी भी भाजपा की संभावनाओं को प्रभावित नहीं कर सकेगी.
Posted By : Pawan Singh