Republic Day 2022: पूरा देश 73वें गणतंत्र दिवस की खुशी में झूम रहा है. हर ओर इसकी धूम दिखाई दे रही है. राजपथ पर दुनिया ने भारत की ताकत देखी तो विभिन्न राज्यों की झाकियों ने सबका दिल जीत लिया. परेड के दौरान फ्लाइंग पास्ट ने सबको रोमांचिक कर दिया. फ्लाई पास्ट में पहली बार ऐसा अद्भुत नजारा दिखा. 100 मिनट में राजपथ पर दिखी सशक्त भारत की झांकी नजर आयी. राफेल, सुखोई, जगुआर, एमआई-17, सारंग, अपाचे और डकोटा विमान और हेलीकॉप्टर ने हैरतअंगेज करतब दिखाए. 75 की आकृति में उड़े 17 जैगुआर विमान ने सबका मन मोह लिया.
परेड में वायुसेना की झांकी का हिस्सा बनीं शिवांगी सिंह: राजपथ पर आयोजित परेड में देश की पहली महिला राफेल लड़ाकू विमान पायलट शिवांगी सिंह ने भी हिस्सा लिया. वह वायु सेना की झांकी का हिस्सा बनने वाली दूसरी महिला लड़ाकू विमान पायलट हैं. वाराणसी की शिवांगी सिंह 2017 में वायु सेना में शामिल हुई थीं. राफेल उड़ाने से पहले वो मिग-21 बाइसन विमान उड़ाती थी. शिवांगी सिंह पंजाब के अंबाला स्थित वायु सेना के गोल्डन ऐरोज स्क्वाड्रन का हिस्सा हैं.
परेड में दिखी भारतीय सेना की कैवेलरी रेजीमेंट: इस बार का गणतंत्र दिवस परेड बेहद खास था. इस बार भारतीय सेना की 61 कैवेलरी रेजीमेंट के घुड़सवार सैनिक का दल भी परेड में शामिल हुआ. इस दल का नेतृत्व मेजर मृत्युंजय सिंह चौहान ने किया. बता दें, यह मौजूदा दौर में दुनिया में सक्रिय एकमात्र घुड़सवार इकाई है. इस रेजीमेंट को कुल 39 युद्ध सम्मान हासिल है.
लेफ्टिनेंट जनरल विजय कुमार मिश्रा ने संभाली परेड की कमान: 73वें गणतंत्र दिवस पर आयोजित परेड की कमान परेड कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल विजय कुमार मिश्रा ने संभाली थी. वहीं, मेजर जनरल आलोक काकर परेड के सेकेंड-इन-कमांडेंट रहे. अति विशिष्ट सेवा मेडल से सम्मानित विजय कुमार मिश्रा दूसरी पीढ़ी के सैन्य अधिकारी रहे हैं. वह भारतीय सैन्य अकादमी के पूर्व छात्र हैं. उन्हें दिसंबर 1985 में जम्मू-कश्मीर राइफल्स की 17वीं बटालियन में नियुक्ति के साथ सेना में शामिल किया गया था.
परेड में शामिल हुए 5 हजार लोग: इस बार के गणतंत्र दिवस परेड में कोरोना महामारी का असर साफ दिखाई दिया. परेड में सिर्फ 5 हजार लोग ही शामिल हो सके. कोविड गाइडलाइन के तहत उनके बैठने की व्यवस्था की गई थी. परेड में उन्ही लोगों को शामिल किया गया जो टीका ले चुके थे. 15 साल से कम उम्र के किशोरों को इस समारोह में शामिल होने की अनुमति मिली थी.
भाषा इनपुट से साभार
Posted by: Pritish Sahay