प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को 75वें गणतंत्र दिवस पर परेड के समापन के बाद कुछ देर कर्तव्य पथ पर पैदल चले और वहां मौजूद लोगों की ओर हाथ हिलाकर उनका अभिवादन किया. वहां मौजूद लोगों में उस समय खुशी की लहर दौड़ गई जब प्रधानमंत्री उनके निकट से गुजरे.
इस दौरान लोगों ने तालियों की गड़गड़ाहट के साथ उनका स्वागत किया और ‘भारत माता की जय’ के नारे लगाए. प्रधानमंत्री मोदी कर्तव्य पथ के दूसरी ओर भी गए, जहां मोबाइल के जरिए उनकी तस्वीरें लेने के लिए उत्साहित दर्शकों ने उनका स्वागत किया.
विशिष्ट अवसरों पर चमकीला और रंग-बिरंगा साफा पहनने की अपनी परंपरा को जारी रखते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने शुक्रवार को 75वें गणतंत्र दिवस के अवसर पर बहुरंगी ‘बांधनी’ प्रिंट का साफा पहना. बांधनी एक प्रकार का टाई-डाई कपड़ा होता है जो गुजरात और राजस्थान में लोकप्रिय है. यह एक ऐसी विधि है, जिसमें कपड़े को बांधकर व गांठ लगाकर रंगाई की जाती है.
जार्जेट, शिफान, रेशमी व सूती कपड़े को रंग के कुंड में डालने से पहले धागे से कसकर बांधा जाता है और जब इस धागे को खोला जाता है तो बंधा हुआ हिस्सा रंगीन हो जाता है. फिर हाथ से कपड़े पर धागे के प्रयोग से डिजाइन तैयार किया जाता है. प्रधानमंत्री ने भूरे रंग की वी-नेक जैकेट के साथ सफेद कुर्ता-पायजामा पहना था. उनका साफा पीला, केसरिया, गुलाबी और लाल रंग का था.
राजस्थानी साफा या पगड़ी स्वतंत्रता दिवस और गणतंत्र दिवस के लिए प्रधानमंत्री की पसंद रहे हैं. पिछले साल भी मोदी ने कुर्ते और चूड़ीदार पायजामे के साथ बहुरंगी राजस्थानी साफा पहना था. उस वर्ष बाद में 77 वें स्वतंत्रता दिवस पर उन्होंने कई रंगों वाला राजस्थानी शैली का साफा चुना था जिसका अन्तिम छोर (छेला) कमर के नीचे तक लंबा था.
प्रचंड बहुमत के साथ दूसरे कार्यकाल के लिए सत्ता में लौटने के बाद 2019 में मोदी ने लाल किले की प्राचीर से अपना छठा स्वतंत्रता दिवस भाषण देते हुए बहुरंगी साफा पहना था. वर्ष 2014 में अपने पहले स्वतंत्रता दिवस भाषण के अवसर पर उन्होंने चमकीले लाल रंग का जोधपुरी बंधेज साफा पहना. साल 2015 में, प्रधानमंत्री मोदी ने बहुरंगी लहरिया पीला साफा और 2016 में गुलाबी और पीले रंग का टाई-एंड-डाई साफा पहना था.
Also Read: Republic Day 2024: पीएम मोदी कुछ यूं पहुंचे वॉर मेमोरियल, इस बार अलग लुक में आए नजर, देखें वीडियोवर्ष 2017 में प्रधानमंत्री का साफा चमकीले लाल और पीले रंग का मिश्रण था. इसमें चारों ओर सुनहरी रेखाएं थीं. उन्होंने 2018 में लाल किले पर राष्ट्र को संबोधित करते हुए केसरिया साफा पहना था. कच्छ के चमकीले लाल रंग के बांधनी साफे से लेकर पीले रंग का राजस्थानी साफा, गणतंत्र दिवस पर मोदी के पहनावे के प्रमुख आकर्षण रहे हैं. वर्ष 2022 में मोदी ने गणतंत्र दिवस समारोह के लिए उत्तराखंड की एक अद्वितीय पारंपरिक टोपी चुनी थी.