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School Reopening : 1 सितंबर से देश में फिर से खुलेंगे स्कूल! टीचर्स व स्टूडेंट्स को करना होगा यह काम

School Reopening News Update: भारत में कोविड-19 के एक दिन में रिकॉर्ड 64,399 नए मामले आने के साथ ही रविवार को संक्रमण के कुल मामले 21 लाख का आंकड़ा पार कर गए जबकि 861 और लोगों की मौत होने से मृतकों की संख्या 43,379 हो गई. कोरोना संकट के बीच चर्चा है कि सरकार अब स्कूलों को अनलॉक कर सकती है. एक सितंबर से नवंबर के बीच चरणबद्ध ढंग से स्कूलों को खोलने का प्लान है.

School Reopening : भारत में कोविड-19 के एक दिन में रिकॉर्ड 64,399 नए मामले आने के साथ ही रविवार को संक्रमण के कुल मामले 21 लाख का आंकड़ा पार कर गए जबकि 861 और लोगों की मौत होने से मृतकों की संख्या 43,379 हो गई. कोरोना संकट के बीच चर्चा है कि सरकार अब स्कूलों को अनलॉक कर सकती है. एक सितंबर से नवंबर के बीच चरणबद्ध ढंग से स्कूलों को खोलने का प्लान है. केंद्र सरकार 31 अगस्त तक इस बारे में गाइडलाइन जारी कर सकती है. हालांकि, आखिरी फैसला राज्य सरकारें ही लेंगी.

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सबसे पहले असम सरकार ने कहा था कि वह एक सितंबर से स्कूल खोलने को तैयार है. उसे केंद्र सरकार की गाइडलाइन का इंतजार है. वहीं, आंध्र प्रदेश सरकार ने भी कहा था कि हालात ठीक रहे, तो राज्य में पांच सितंबर से स्कूल खोले जा सकते हैं. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार इसकी शुरुआत 10वीं व 12वीं कक्षाओं से होगी. फिर नौवीं से छठी कक्षा तक के स्कूल खुलेंगे.

टीचर्स व कर्मचारियों का होगा कोरोना टेस्ट : हेल्थ प्रोटोकॉल का पालन अनिवार्य होगा. स्कूल के सभी शिक्षक व कर्मचारियों को कोरोना टेस्ट करवाना होगा. सर्दी व बुखार की स्थिति में छात्रों को स्कूल आने की इजाजत नहीं होगी.

शिफ्ट में खुलेंगे स्कूल: प्रस्ताव है कि स्कूलों को शिफ्टों में खोला जाये. पहली शिफ्ट सुबह आठ से 11 और दूसरी 12 से 3 बजे तक रहेगी. सेनिटाइजेशन के लिए एक घंटे का ब्रेक होगा. स्कूलों से कहा जायेगा कि वह 33 प्रतिशत टीचिंग स्टाफ के साथ काम करें.

योजना के मुताबिक पहले फेज: में 10वीं से 12वीं के छात्रों को स्कूल आने के लिए कहा जायेगा. यदि स्कूल में चार सेक्शन होंगे, तो एक दिन में सिर्फ दो सेक्शन में पढ़ाई होगी, ताकि सोशल डिस्टेंसिंग का पूरा ख्याल रखा जा सके.

जुलाई में हुआ था सर्वे : आपको बताते चलें कि जुलाई में हुए एक सर्वे के अनुसार ज्यादातर अभिभावक अपने बच्चों को स्कूल भेजने के पक्ष में नजर नहीं आ रहे थे. राज्य सरकारों का भी कहना है कि स्कूल न खुलने से ऐसे बच्चों को परेशानी का सामना करना पड रहा है, जो गरीब हैं और जिनके पास ऑनलाइन पढ़ाई के लिए सुविधा उपलब्ध नहीं है.

Posted By : Amitabh Kumar

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