सुप्रीम कोर्ट में विवादों से घिरी मेडिकल प्रवेश परीक्षा ‘नीट-यूजी’ 2024 से संबंधित याचिकाओं पर सुनवाई जारी है. कोर्ट में दायर याचिका में परीक्षा रद्द करने, एनटीए को दोबारा परीक्षा कराने का आदेश देने, अनियमितताओं के संबंध में न्यायालय की निगरानी में जांच किए जाने का अनुरोध किया गया. कोर्ट ने एनटीए को परीक्षा रद्द करने से रोकने का अनुरोध करने वाली गुजरात के 50 से अधिक सफल परीक्षार्थियों की याचिका पर भी सुनवाई की.
कुछ याचिकाकर्ताओं के वकील ने दोबारा परीक्षा कराए जाने का अनुरोध करते हुए शीर्ष कोर्ट से कहा कि कसूरवार और बेकसूरों की पहचान करना संभव नहीं है. इन याचिकाओं में नीट-यूजी की 5 मई को हुई परीक्षा में गड़बड़ी के अलावा कदाचार का आरोप लगाने वाली और इसे फिर से आयोजित करने का निर्देश देने का अनुरोध करने वाली याचिकाएं भी शामिल हैं.
कुल 38 याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई
इससे पहले केंद्र और एनटीए ने गत शुक्रवार को कोर्ट में कहा था कि गोपनीयता भंग होने के किसी साक्ष्य के बिना इस परीक्षा को रद्द करने का बेहद प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा. ऐसा क्योंकि इससे लाखों अभ्यर्थियों जिनका इन आरोपों से कुछ लेना देना नहीं है, उनपर खराब असर पड़ेगा. प्रधान न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति जे बी पारदीवाला एवं न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा की पीठ परीक्षा से संबंधित कुल 38 याचिकाओं पर सुनवाई कर रही है.
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एनटीए लेती है परीक्षा
एनटीए सरकारी और प्राइवेट इंस्टीट्यूशन में एमबीबीएस, बीडीएस, आयुष और अन्य संबंधित पाठ्यक्रमों में दाखिले के लिए नीट-यूजी का आयोजन करती है. इस साल 5 मई को यह परीक्षा आयोजित की गई थी. इस परीक्षा में 571 शहरों के 4,750 परीक्षा केंद्रों पर लगभग 23 लाख अभ्यर्थी शामिल हुए थे. प्रश्न पत्र लीक समेत अनियमितताओं के आरोपों को लेकर कई शहरों में विरोध प्रदर्शन देखने को मिल चुके हैं.
काउंसलिंग अगली सूचना तक स्थगित
नीट यूजी काउंसलिंग अगली सूचना तक स्थगित कर दी गई है. विवादों में घिरी नीट-यूजी 2024 परीक्षा को रद्द करने की मांग उठ रही है.