नई दिल्ली : देश में कोरोना की तीसरी लहर के खतरे के बीच एक चौंकाने वाली खबर भी आई है. खबर यह है कि अब आंसू बहाने से भी महामारी का संक्रमण फैलने का खतरा है. हाल ही में किए गए अध्ययन में इस बात का खुलासा किया गया है कि कोरोना से संक्रमित मरीजों के आंसू से भी वायरस तेजी से फैल सकता है, क्योंकि सार्स-कोव-2 को आंखों के आंसू में भी पाया गया है.
मीडिया में आ रही खबरों के अनुसार, पंजाब के अमृतसर स्थित गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज इससे जुड़ी एक अध्ययन रिपोर्ट प्रकाशित किया है, जिसमें यह कहा गया है सार्स-कोव-2 के वायरस संक्रमित व्यक्ति की आंखों में भी मौजूद रहते हैं. हालांकि, विशेषज्ञों का कहना है कि कोरोना के संक्रमण का प्रसार सबसे अधिक सांसों के जरिए ही होता है.
अंग्रेजी के अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया ने लिखा है कि अमृतसर के गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज में कोरोना के करीब 120 मरीजों पर अध्ययन किया गया. इनमें से इनमें से करीब 60 मरीजों में आंसुओं के जरिए वायरस शरीर के दूसरे हिस्से में पहुंच गया, जबकि 60 मरीजों में ऐसा नहीं हुआ.
शोधकर्ताओं ने 41 रोगियों में कंजंक्टिवल हाइपरमिया, 38 में फॉलिक्युलर रिएक्शन, 35 में केमोसिस, 20 रोगियों में म्यूकॉइड डिस्चार्ज और 11 में खुजली पाई गई. ऑक्यूलर लक्षणों वाले लगभग 37 फीसदी मरीजों में मध्यम कोविड -19 संक्रमण था. बाकी 63 फीसदी में कोरोना के गंभीर लक्षण थे. रिपोर्ट के अनुसार, करीब 17.5 फीसदी मरीजों के आंसू के आरटी-पीसीआर टेस्ट में कोरोना पॉजिटिव निकले.
Posted by : Vishwat Sen