देश में बढ़ने लगा बर्ड फ्लू का खतरा, केरल की ताकाझी ग्राम पंचायत में घरेलू पक्षियों को मारने का दिया गया आदेश
मीडिया की रिपोर्ट्स के अनुसार, केरल के अलप्पुझा जिले की ताकाझी पंचायत में बर्ड फ्लू फैलने की जानकारी मिली है. इसके चलते अधिकारियों को प्रभावित क्षेत्र के एक किलोमीटर के दायरे में बत्तख, मुर्गियों और अन्य घरेलू पक्षियों को मारने का आदेश देना पड़ा है.
नई दिल्ली/अलप्पुझा : देश में कोरोना के नए वेरिएंट ओमिक्रॉन के साथ ही बर्ड फ्लू का खतरा भी बढ़ने लगा है. खासकर केरल में बर्ड फ्लू तेजी से बढ़ता हुआ दिखाई दे रहा है. आलम यह कि राज्य में तेजी से फैलते बर्ड फ्लू की वजह से केरल के एक गांव में घरेल पक्षियों को मारने के लिए प्रशासन की ओर से आदेश दिया गया है. प्रशासनिक अधिकारियों के आदेश के बाद प्रभावित गांव के एक किलोमीटर के दायरे में बत्तख, मुर्गियों और अन्य घरेलू पक्षियों को मारने की प्रक्रिया शुरू हो गई.
मीडिया की रिपोर्ट्स के अनुसार, केरल के अलप्पुझा जिले की ताकाझी पंचायत में बर्ड फ्लू फैलने की जानकारी मिली है. इसके चलते अधिकारियों को प्रभावित क्षेत्र के एक किलोमीटर के दायरे में बत्तख, मुर्गियों और अन्य घरेलू पक्षियों को मारने का आदेश देना पड़ा है.
जिला कलेक्टर ए एलेक्जेंडर ने फ्लू के प्रकोप के मद्देनजर जिले के वरिष्ठ पशुपालन, स्वास्थ्य और पुलिस अधिकारियों के साथ गुरुवार को इमरजेंसी बैठक की अध्यक्षता कर स्थिति की समीक्षा की.
आधिकारिक सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, प्रशासन ने नजदीकी इलाकों में बर्ड फ्लू के वायरस के प्रसार को रोकने के लिए ताकाझी ग्राम पंचायत के वार्ड नंबर 10 और इसके आसपास के एक किलोमीटर दायरे में सभी मुर्गियों, बत्तखों और अन्य घरेलू पक्षियों को मारने का आदेश दिया है.
अधिकारियों ने कहा कि प्रभावित क्षेत्र को एक निषिद्ध क्षेत्र घोषित किया गया है, जबकि क्षेत्र में वाहनों और लोगों की आवाजाही पर पाबंदी लगा दी गई है. जिला कलेक्टर ने इसके अलावा प्रभावित क्षेत्रों में बत्तख, मुर्गी, बटेर और घरेलू पक्षियों के अंडे, मांस और खाद के इस्तेमाल और बिक्री पर भी पाबंदी लगा दी गई है.
सूत्रों ने कहा कि यह पाबंदी चंपाकुलम, नेदुमुडी, मुत्तर, वियापुरम, करुवट्टा, त्रिकुन्नपुझा, ताकाझी, पुरक्कड़, अंबालापुझा दक्षिण, अंबालापुझा उत्तर, एडथवा पंचायतों और हरिप्पड नगरपालिका क्षेत्र में लागू रहेगी. पशुपालन विभाग ने ताकाझी में पक्षियों को पकड़ने और जान से मारने के लिए त्वरित प्रतिक्रिया दलों का गठन किया गया है.
जिला कलेक्टर की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में सहायक वन संरक्षक को इस बात की निगरानी और निरीक्षण करने के लिए अधिकृत किया गया है कि वे इस बात का पता लगाएं कि प्रवासी पक्षी बीमारी से संक्रमित हुए हैं या नहीं. अधिकारियों के अनुसार, पशुपालन विभाग को जिले में बर्ड फ्लू रोकथाम गतिविधियों पर दैनिक रिपोर्ट पेश करने के निर्देश दिए गए हैं.