BJP VS TMC: पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ टीएमसी और विपक्षी बीजेपी के बीच चुनाव रिजल्ट के बाद भी सियासी खींचतान जारी है. अब, पश्चिम बंगाल के एक गांव में बीजेपी कार्यकर्ताओं को कोई सामान नहीं बेचने का फरमान तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने दुकानदारों को दिया है. इस पर बीजेपी ने राज्य की ममता बनर्जी सरकार को कठघरे में खड़ा किया है. मामला इतना बढ़ा कि केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सीएम ममता बनर्जी से हस्तक्षेप की मांग की है.
दरअसल, पश्चिमी मेदिनीपुर जिले के केशपुर गांव के बूथ संख्या 176 और 179 में टीएमसी की तरफ से बीजेपी के 18 कार्यकर्ताओं को कोई सामान नहीं बेचने का तुगलकी फरमान सुनाया गया है. टीएमसी की लोकल यूनिट महिषादल तृणमूल कांग्रेस ने बाकायदा पर्चा जारी करके कई जगह पर चिपकाया है. इसमें जिक्र है कि बिना उनकी सहमति के बीजेपी के कार्यकर्ताओं को कोई सामान नहीं दें. अगर इस आदेश का पालन नहीं किया गया तो कठोर कार्रवाई की जाएगी.
Also Read: अभिषेक की जगह सायोनी घोष तृणमूल यूथ विंग की अध्यक्ष बनी, ममता बनर्जी ने भतीजे को बनाया महासचिवइस मसले पर दिल्ली तक हंगामा हो रहा है. केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने ट्वीट से राज्य की सीएम ममता बनर्जी से हस्तक्षेप की मांग की. निर्मला सीतारमण ने अपने ट्वीट में लिखा- यह वाकई में चौंकाने वाला फरमान है. सीएम ममता बनर्जी से आग्रह है कि पश्चिम बंगाल के सभी नागरिकों के अधिकारों की रक्षा की जाए. किसी को बुनियादी जरूरतों से दूर करना शर्मनाक है.
बीजेपी के राज्यसभा सदस्य स्वपन दासगुप्ता ने भी ट्वीट करके पीड़ा जाहिर की है. उन्होंने ट्वीट में लिखा है- पश्चिम बंगाल की सत्तारूढ़ दल की लोकल यूनिट की ब्लैक लिस्ट अद्भुत है. बीजेपी के कार्यकर्ताओं के साथ नाइंसाफी की जा रही है. मीडिया की खामोशी और बंगाल पुलिस की शह पर बीजेपी के कार्यकर्ताओं और समर्थकों के साथ पश्चिम बंगाल में नाइंसाफी की जा रही है.
Also Read: PM मोदी नहीं, सर्टिफिकेट पर ममता की तसवीर, BJP ने लगाया आपदा में ‘सियासी अवसर’ तलाशने के आरोपइसके अलावा बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता संबित पात्रा ने भी सीएम ममता बनर्जी पर हमला बोला है. उन्होंने ममता सरकार को फासीवादी करार देते हुए ट्वीट किया- यह असहिष्णुता नहीं है. यह तो फासीवाद ममता सरकार है. बेहद अफसोस हो रहा है कि ममता बनर्जी आज हत्या, अत्याचार और हिंसा की प्रतीक बन चुकी हैं. इस मामले पर टीएमसी की तरह से कोई बयान नहीं आया है.