गुजरात चुनाव 2022: आदिवासी वोट पर सबकी नजर, जानें बीटीपी कितनी है मजबूत
Gujarat Election 2022 : मौजूदा विधानसभा पर नजर डालें तो भारतीय ट्राइबल पार्टी (बीटीपी) के दो विधायक हैं. छोटू वसावा जहां भरूच में झगडिया सीट का प्रतिनिधित्व करते हैं, वहीं उनके बेटे एवं बीटीपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष महेश वसावा नर्मदा जिले के डेडियापडैन से विधायक हैं.
Gujarat Election 2022 : गुजरात में विधानसभा चुनाव को लेकर सरगर्मी तेज हो चली है. हर पार्टी वोटरों को लुभाने में लगी हुई है. इस बीच प्रदेश के आदिवासी वोट पर सबकी नजर है. हालांकि भारतीय ट्राइबल पार्टी (बीटीपी) पूरे दमखम से इस चुनाव में नजर आ रही है जिसने जनता दल यूनाइटेड यानी जदयू से चुनाव पूर्व गंठबंधन किया है. चुनाव के दौरान बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार प्रचार करते नजर आ सकते हैं. पिछले दिनों बीटीपी ने गुजरात की 12 विधानसभा सीट के लिए उम्मीदवारों की पहली सूची की जारी की. इस सूची की बात करें तो इसमें अनुसूचित जनजाति (एसटी) की नौ आरक्षित सीटें शामिल हैं. अब जानते आखिर प्रदेश में कितनी आदिवासियों की संख्या है और वर्तमान में बीटीपी का क्या है हाल
कुल आबादी का लगभग 15 प्रतिशत हैं आदिवासी
2011 की जनगणना की बात करें, गुजरात में 89.17 लाख आदिवासी थे, जो इसकी कुल आबादी का लगभग 15 प्रतिशत है. आदिवासी समुदाय के सदस्य बड़े पैमाने पर राज्य के 14 पूर्वी जिलों में निवास करते हैं. आदिवासी आबादी 48 तालुका में केंद्रित है.
बीटीपी के वर्तमान में कितने एमएलए
मौजूदा विधानसभा पर नजर डालें तो भारतीय ट्राइबल पार्टी (बीटीपी) के दो विधायक हैं. छोटू वसावा जहां भरूच में झगडिया सीट का प्रतिनिधित्व करते हैं, वहीं उनके बेटे एवं बीटीपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष महेश वसावा नर्मदा जिले के डेडियापडैन से विधायक हैं. इस बार पार्टी अपने विधायकों की संख्या बढ़ाने पर जोर दे रही है. इसलिए उसने जदयू के साथ गंठबंधन किया है.
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बीटीपी ने ‘आप’ से तोड़ा था गंठबंधन
यदि आपको याद हो तो एक अनुभवी आदिवासी नेता छोटू वसावा 1990 से 2017 तक जद (यू) के साथ थे. उन्होंने नीतीश कुमार के भाजपा के साथ गठबंधन करने के बाद पार्टी छोड़ दी और 2017 के विधानसभा चुनावों से पहले बीटीपी का गठन किया. उन्होंने इससे पहले 2020 में गुजरात पंचायत चुनाव से पहले असदुद्दीन ओवैसी के नेतृत्व वाली एआईएमआईएम के साथ और इस साल आप के साथ चुनावी गठबंधन किया था. हालांकि वसावा ने आप से नाता तोड़ लिया और दावा किया कि केजरीवाल भाजपा के इशारे पर काम कर रहे हैं.
एक दिसंबर से चुनाव शुरू
गौर हो कि गुजरात की कुल 182 विधानसभा सीटों में से पहले चरण में 89 सीटों पर एक दिसंबर को चुनाव होना है जबकि शेष 93 सीटों पर पांच दिसंबर को वोट डाले जाएंगे. आठ दिसंबर को मतों की गणना की जाएगी. इस बार कांग्रेस और भाजपा के अलावा गुजरात विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी (आप) भी चुनावी रण में नजर आ रही है.