त्रिपुरा हिंसा मामला: TMC को नहीं मिली रैली की अनुमति, दिल्ली में प्रदर्शन, सुप्रीम कोर्ट सुनवाई के लिए राजी

त्रिपुरा में  तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) की राज्य सचिव सयानी घोष  की गिरफ्तारी के बाद से भाजपा और टीएमसी के बीच तनाव व्‍याप्‍त है. तृणमूल कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि भाजपा त्रिपुरा में उनके बड़े नेताओं की रैली नहीं होने दे रही है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 22, 2021 1:31 PM
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संसद के शीतकालीन सत्र के पहले पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी दिल्ली दौरे पर हैं जहां वह विपक्ष के नेताओं के साथ-साथ, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी मुलाकात कर सकतीं हैं. वहीं त्रिपुरा के मुद्दे पर धरना देने के लिए ममता की पार्टी तृणमूल कांग्रेस के 15 सांसद भी दिल्ली में प्रदर्शन कर रहे हैं. ये सांसद गृह मंत्रालय के बाद धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं. खबरों की मानें तो त्रिपुरा हिंसा को लेकर तृणमूल कांग्रेस सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटा सकती है.

गौर हो कि त्रिपुरा में  तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) की राज्य सचिव सयानी घोष  की गिरफ्तारी के बाद से भाजपा और टीएमसी के बीच तनाव व्‍याप्‍त है. तृणमूल कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि भाजपा त्रिपुरा में उनके बड़े नेताओं की रैली नहीं होने दे रही है.

पुलिस सूत्रों की मानें तो अभिषेक बनर्जी की अगरतला में एक रैली आयोजित होने वाली थी. इस रैली को कोरोना संक्रमण के वर्तमान हालात को देखते हुए अनुमति नहीं दी गई है. तृणमूल कांग्रेस ने अपने ट्विटर वॉल पर लिखा कि हमारे राष्ट्रीय महासचिव अभिषक बनर्जी हर एक कार्यकर्ता के साथ खड़े होने के लिए त्रिपुरा में हैं, जिन्हें सीएम बिप्लब देव के प्रकोप, त्रिपुरा के लोगों की रक्षा करने में उनकी अक्षमता का खामियाजा भुगतना पड़ा. आपकी सुरक्षा हमारी प्राथमिकता है. आपका न्याय – हमारी मांग…

टीएमसी सांसद सुखेंदु शेखर रॉय ने कहा

गृह मंत्रालय के बाहर प्रदर्शन के दौरान टीएमसी सांसद सुखेंदु शेखर रॉय ने कहा कि त्रिपुरा की सरकार को बर्ख़ास्त किया जाना चाहिए. त्रिपुरा में गुंडा राज कायम किया गया है. गृह मंत्री से हम मिलना चाहते थे लेकिन उन्होंने हमें समय नहीं दिया है। हमारी टीएमसी युवा नेता पर झूठा मुक़द्दमा दर्ज़ किया गया.


त्रिपुरा सरकार के खिलाफ दायर अवमानना याचिका पर सुनवाई के लिए कोर्ट राजी

सुप्रीम कोर्ट ने तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) पार्टी की उस याचिका पर 23 नवंबर को सुनवाई करने के लिए सोमवार को सहमति जताई, जिसमें आगामी स्थानीय निकाय चुनावों से पहले विपक्षी दलों के खिलाफ हिंसक घटनाओं को रोकने में विफल रहने के लिए त्रिपुरा सरकार और अन्य के खिलाफ अवमानना कार्रवाई का अनुरोध किया गया है. न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति ए एस बोपन्ना की पीठ ने कहा कि याचिका पर मंगलवार को सुनवाई की जायेगी.

Posted By : Amitabh Kumar

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