MBBS Study In Hindi: MBBS की पढ़ाई को लेकर बड़ी पहल की गई है. अबतक MBBS (Bachelor of Medicine and Bachelor of Surgery) की पढ़ाई अंग्रेजी में होती थी लेकिन इसे लेकर बड़ी बात सामने आई है. दरअसल, अब छात्र हिंदी में एमबीबीएस की पढ़ाई कर सकेंगे. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने 16 अक्टूबर 2022 को हिंदी भाषा में चिकित्सा शिक्षा प्रदान करने के लिए मध्य प्रदेश सरकार की महत्वाकांक्षी परियोजना के तहत एमबीबीएस छात्रों के लिए तीन विषयों की हिंदी में पाठ्यपुस्तकों का विमोचन किया है.
इसे इतिहास का एक महत्वपूर्ण दिन बताते हुए अमित शाह ने कहा कि मध्य प्रदेश देश का पहला ऐसा राज्य बन गया है जिसने हिंदी में एमबीबीएस (बैचलर ऑफ मेडिसिन एंड बैचलर ऑफ सर्जरी) कोर्स शुरू किया है.
देश में पहली बार मेडिकल की पढ़ाई हिंदी में शुरू हो रही है, भोपाल (मध्य प्रदेश) में इसका शुभारंभ करते हुए… https://t.co/QgJGqYOAke
— Amit Shah (@AmitShah) October 16, 2022
मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में आयोजित एक समारोह में एमबीबीएस छात्रों के लिए मेडिकल बायोकेमिस्ट्री, एनाटॉमी और मेडिकल फिजियोलॉजी विषयों की पाठ्यपुस्तकों का हिंदी में विमोचन करते हुए उन्होंने कहा, “यह दिन इतिहास में सुनहरे अक्षरों में लिखा जाएगा.” शाह ने कहा कि देश की आठ अन्य भाषाओं में तकनीकी और चिकित्सा शिक्षा शुरू करने का काम जारी है. हिंदी में एमबीबीएस पाठ्यक्रम राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत शुरू किया गया था और जल्द ही इसे अन्य भाषाओं में भी शुरू किया जाएगा.
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि अब देश के छात्रों में अंग्रेजी भाषा न जानने को लेकर कोई हीन भावना नहीं होगी और वे अपनी भाषा में गर्व के साथ पढ़ाई कर सकते हैं. उन्होंने कहा कि पहले देश में 387 मेडिकल कॉलेज थे जिनमें कुल 51,000 सीटें थीं. अब, प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में राष्ट्र में अतिरिक्त 89,000 सीटों के साथ 596 मेडिकल कॉलेज हैं.
उन्होंने कहा कि देश में पहले 16 आईआईटी (Indian Institute of Technology) कॉलेज थे और अब संख्या 23 हो गई है. वहीं, आईआईएम (IIM) की संख्या 13 से बढ़कर 20 हो गई है. विश्वविद्यालयों की संख्या 723 से बढ़कर 1,043 हो गई है और भारतीय संस्थानों की संख्या सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान (IIIT) नौ से 25 तक हो गई है. इसी तरह अन्य राष्ट्रीय स्तर के संस्थानों की संख्या में भी काफी वृद्धि हुई है.
अमित शाह ने देश में एमबीबीएस पाठ्यक्रम हिंदी में शुरू करने में अग्रणी भूमिका निभाने के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और मंत्री सारंग की प्रशंसा की और कहा कि अब छात्र अपनी भाषा में चिकित्सा शिक्षा सीख सकेंगे.