UPSC civil services exam : सिविल सेवा सेवा परीक्षा में एक अतिरिक्त मौका दिये जाने के मसले पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार से पूछा कि क्या आप अभ्यर्थियों को आयुसीमा में छूट का एक मौका नहीं दे सकते?
कोर्ट ने कहा कि जब आप प्रतियोगियों को एक अतिरिक्त मौका देने के लिए तैयार हैं, तो उम्मीद है कि आप बहुत सख्त रुख नहीं अपनायेंगे क्योंकि यह असाधारण स्थिति थी इसलिए आयुसीमा में छूट देने के लिए क्या आप सहमत हैं?
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने पिछली सुनवाई में सरकार से यह पूछा था कि वैसे अभ्यर्थी जिनका 2020 में अंतिम मौका था क्या उन्हें सरकार एक और मौका नहीं दे सकती है. इसपर केंद्र ने पिछली सुनवाई में यह कहा कि वह और यूपीएससी अभ्यर्थियों को एक और मौका देने के लिए तैयार है, लेकिन वह आयुसीमा में छूट नहीं देगी. चूंकि सरकार ने कई तरह की शर्तें मौका दिये जाने पर लगायीं थीं इसलिए कोर्ट ने यह कहा था कि वह पूरी तरह शर्तों को पढ़ने के बाद आगे की कार्रवाई करेगी.
आज की सुनवाई में याचिकाकर्ताओं ने कहा कि केंद्र की पेशकश कमजोर वर्गों को परीक्षा से बाहर करती है. पिछले साल जिन 2236 उम्मीदवारों के पास अंतिम मौका था, वे आयु-वर्जित हैं. यदि आयु में उन्हें छूट नहीं दी गयी है, तो ये सभी अवसर से चूक जायेंगे. चूंकि एससी- एसटी उम्मीदवारों के पास प्रयास के अवसर नहीं होते उनकी आयुसीमा ही पात्रता का मापदंड है. कोर्ट के सवाल पूछने पर केंद्र की ओर से यह कहा गया है कि यह नीति से संबंधित मसला है इसलिए इसपर वह कलतक जवाब देगी.
Posted By : Rajneesh Ananad