फर्जी डिग्री के साथ बीएड प्रमाणपत्र पर नियुक्त प्रदेश के 150 प्राथमिक शिक्षकों को अब तक बर्खास्त किया जा चुका है. इनमें 5 शिक्षक-शिक्षिकाएं सुंदरगढ़ जिले के हैं. फर्जी शैक्षणिक प्रमाणपत्र देकर नौकरी करने की बात प्रमाणित होने से राज्य शिक्षा विभाग ने उन्हें बर्खास्त कर दिया है. इस कार्रवाई के बाद जिले में फर्जी प्रमाणपत्र पर नौकरी करने वाले शिक्षक-शिक्षिकाओं के बीच हड़कंप मच गया है. सिर्फ ये पांच शिक्षक- शिक्षिकाएं ही नहीं, बल्कि जिले में और भी कई शिक्षक फर्जी डिग्री और बीएड प्रमाणपत्र लेकर भर्ती किये जाने की शिकायत पर जिला शिक्षा विभाग ने उन शिक्षकों के शिक्षा प्रमाणपत्रों के सत्यापन की प्रक्रिया शुरू कर दी है.
प्रमाणपत्र असली हैं या नकली, इसकी जांच के लिए संबंधित विश्वविद्यालयों को पत्र लिखा जा चुका है. 50 से अधिक शिक्षकों के विवि से साक्ष्य मिलने के बाद नौकरी से निकाले जाने की संभावना है.
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प्रज्ञाप्रमिता स्वांई, एक्स कैडर सहायक शिक्षक, कुमझरिया हाई स्कूल, कुआरमुंडा ब्लाॅक
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संध्यारानी पल्लाउरी, गण शिक्षिका, कुमझरिया हाई स्कूल, कुआरमुंडा ब्लाॅक
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रश्मिरखा मल्लिक, कनिष्ठ शिक्षिका, लांजीबेरणा उन्नत हाई स्कूल, कुतरा ब्लाॅक
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मुक्तेश्वर महानंदिया, सहायक शिक्षक, बड़पाड़ा, बड़गांव ब्लाॅक
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रीना दाश, सहायक शिक्षिका, करमडीही सरकारी हाई स्कूल, सबडेगा ब्लाॅक
कुछ शिक्षकों को आंध्र विश्वविद्यालय, हरियाणा कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय, श्रीकाकुलम, बेंगलुरु, गुंटूर, कर्नाटक, तिरुपति और अन्य शैक्षणिक संस्थानों के फर्जी बीएड प्रमाणपत्र पर नियुक्त किया गया है, जबकि कुछ अन्य को फर्जी विश्वविद्यालयों से तैयार प्रमाणपत्रों के आधार पर नौकरी मिली है. आरोप है कि किराना, डाटा एंट्री ऑपरेटर जैसे सरकारी दफ्तरों में भी फर्जी शिक्षा और जाति प्रमाण पत्र वाले कई लोग कार्यरत हैं.
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