रोजगार के नाम पर वोट बैंक
राज्य सरकार हर जगह अनुबंध पर बहाली निकलती है. मासिक मानदेय 1000 या प्रोत्साहन राशि पर लोग सरकार की इन बहालियों में आकर फंस जाते हैं. फिर न तो सही से अपने परिवार का भरण-पोषण कर पाते हैं, न ही काम छोड़ कर दूसरी जगह जा पाते हैं. एक उम्मीद लगी रहती है कि आनेवाले […]
राज्य सरकार हर जगह अनुबंध पर बहाली निकलती है. मासिक मानदेय 1000 या प्रोत्साहन राशि पर लोग सरकार की इन बहालियों में आकर फंस जाते हैं. फिर न तो सही से अपने परिवार का भरण-पोषण कर पाते हैं, न ही काम छोड़ कर दूसरी जगह जा पाते हैं.
एक उम्मीद लगी रहती है कि आनेवाले समय में नौकरी स्थायी हो जायेगी. इस तरह से उनका जीवन बर्बाद हो जाता है. वे न तो अपने बच्चों को उचित शिक्षा दे पाते हैं, न अपने जीवन को सामान्य कर पाते हैं. सरकार वोट बैंक बनाने के लिए रोजगार गिनवा देती है.
हिमाचल प्रदेश सरकार ने कहा था कि कोई भी बहाली अनुबंध पर नहीं होगी, जो भी होगी वह स्थायी होगी. इससे अन्य राज्यों की सरकारों को सीख लेनी चाहिए. अगर अनुबंध पर ही बहाली करनी हो, तो वह स्थायी ही हो. 60 वर्षों के लिए. महंगाई को देखते हुए न्यूनतम मासिक वेतन हो, जिससे अनुबंध पर बहाल कर्मचारी अपने आप को शाेषित महसूस न करें.
नवीन सिंह रबोध, इमेल से