सुमति को इंसाफ मिलना जरूरी

सुमित की कहानी बेहद दुखद है. इस घटना से झारखंड में होनेवाली मानव तस्करी में एक और अध्याय जुड़ गया, लेकिन उससे भी दुखद यह है कि सुमति को अखबार में भी केवल एक दिन जगह मिली? क्या किसी की जिंदगी की तकलीफें सिर्फ एक दिन की सुर्खी भर है? ऐसा नहीं होना चाहिए. किसी […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 9, 2015 5:58 AM
सुमित की कहानी बेहद दुखद है. इस घटना से झारखंड में होनेवाली मानव तस्करी में एक और अध्याय जुड़ गया, लेकिन उससे भी दुखद यह है कि सुमति को अखबार में भी केवल एक दिन जगह मिली? क्या किसी की जिंदगी की तकलीफें सिर्फ एक दिन की सुर्खी भर है? ऐसा नहीं होना चाहिए.
किसी भी लड़की पर किसी की भी तरह की हिंसा होती है, तो उसकी जिंदगी में उथल-पुथल मच जाती है. जिस लड़की का हक मारा जाता है या धोखाधड़ी होती है, तो कोई उससे पूछे कि उसके दिल पर क्या गुजरती है. स्थिति और भी भयावह तब हो जाती है, जब वह गरीब हो. ऐसे में समाज को आगे आना चाहिए और अखबार को मुखर पत्रकारिता करते हुए जब तक उस मजबूर और लाचार लड़की को इंसाफ न मिल जाये, तब तक हर रोज आवाज उठानी चाहिए.
केतकी शर्मा, जमशेदपुर

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