शोषण के शिकार अनुबंधकर्मी

अनुबंध की नौकरी के नाम पर सरकार युवाओं का शोषण कर रही है. युवा इस आशा से अनुबंध की नौकरी ज्वाइन करते हैं कि चलो रोजी की व्यवस्था हो जायेगी और काम करते हुए कोई नियमित नौकरी मिल जायेगी. परंतु उन्हें क्या मालूम कि इसी के भरोसे जीवन काटना पड़ जायेगा. उनसे इतना ज्यादा काम […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 16, 2015 1:17 AM
अनुबंध की नौकरी के नाम पर सरकार युवाओं का शोषण कर रही है. युवा इस आशा से अनुबंध की नौकरी ज्वाइन करते हैं कि चलो रोजी की व्यवस्था हो जायेगी और काम करते हुए कोई नियमित नौकरी मिल जायेगी. परंतु उन्हें क्या मालूम कि इसी के भरोसे जीवन काटना पड़ जायेगा.
उनसे इतना ज्यादा काम लिया जाता है कि वे काम के अलावा कुछ नहीं सोच पाते हैं. इसी तरह उनकी उम्र निकल जाती है और वे प्रतियोगी परीक्षाओं में नही बैठ पाते हैं. मानदेय के नाम पर उन्हें 10-12 हजार रुपये थमा दिये जाते हैं. इतने में उनकी अकेले की आवश्यकता पूरी नहीं होती है. धीरे-धीरे परिवार बढ़ता है, पर मानदेय नहीं. कार्यालय में काम का बोझ और घर में अभाव का बोझ भी बढ़ता जाता है. इस स्थिति में अगर वे सरकार से आवाज उठाते हैं, तो उन्हें निकालने की धमकी भी दी जाती है.
प्रकाश, ई-मेल से

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