विकास की संभावनाओं से भरा राज्य
खनिज संपदा से संपन्न झारखंड राज्य में आर्थिक विकास की अपार संभावनाएं हैं. यह राज्य आर्थिक दृष्टि से एक उभरता हुआ राज्य है. इस वर्ष विधानसभा में वित्तीय वर्ष 2015-16 का कुल 5554.92 करोड़ रुपये का बजट पेश किया गया है. बजट में छह स्मार्ट सिटी बनाने, मोनो रेल चलाने और खेल विश्वविद्यालय की स्थापना […]
खनिज संपदा से संपन्न झारखंड राज्य में आर्थिक विकास की अपार संभावनाएं हैं. यह राज्य आर्थिक दृष्टि से एक उभरता हुआ राज्य है. इस वर्ष विधानसभा में वित्तीय वर्ष 2015-16 का कुल 5554.92 करोड़ रुपये का बजट पेश किया गया है. बजट में छह स्मार्ट सिटी बनाने, मोनो रेल चलाने और खेल विश्वविद्यालय की स्थापना आदि अन्य कई घोषणाएं की गयी हैं.
अब समय है बजट में की गयी घोषणाओं को धरातल पर लाने की. अगर समय रहते विकास की योजनाओं पर कार्य किया जाये, तो आनेवाले चार वर्षो में झारखंड की अर्थव्यवस्था काफी मजबूत हो जायेगी.
किसी भी राज्य एवं देश के विकास में वहां की बेहतर शिक्षा व्यवस्था का महत्वपूर्ण योगदान होता है. राज्य में शिक्षा के स्तर को बेहतर बनाने से ही राज्य का विकास होगा. राज्य में इंजीनियरिंग एवं प्रबंधन की पढ़ाई के लिए अच्छे शिक्षण संस्थान हैं, लेकिन अच्छे मेडिकल कॉलेजों की कमी है. बेहतर चिकित्सा एवं मेडिकल की शिक्षा के लिए राज्य में एम्स की स्थापना होनी चाहिए.
विनिर्माण एवं अन्य उद्योगों पर ध्यान देने की आवश्यकता है, जिससे युवाओं को रोजगार मिल सके. कौशल विकास के तहत युवाओं को प्रशिक्षित करना होगा. धनबाद, बोकारो, देवघर व जमशेदपुर में सॉफ्टवेयर तकनीकी पार्क बनने से रोजगार की संभावनाएं बढ़ेंगी. कपड़ा उद्योग में भी संभावनाएं हैं, इसलिए राज्य में कपड़ा क्षेत्र का भी विकास होना चाहिए. गुमला, रांची, जमशेदपुर व देवघर आदि शहरों के पर्यटन क्षेत्रों को इको टूरिज्म के तहत विकास करने से राज्य में पर्यटन के क्षेत्र में रोजगार की संभावनाएं बढ़ेंगी. कृषि के विकास पर भी ध्यान देना होगा. कृषि तकनीक से किसानों को प्रशिक्षित किया जाना चाहिए.
पंकज महतो, धनबाद