बेटी के जन्म पर सामने होता है दहेज
इन दिनों फेसबुक पर एक पोस्ट बार-बार आ रहा है कि हम बहन, मा, पत्नी को प्यार करते हैं, मगर बेटी के जन्म पर दुखी क्यों हो जाते हैं? उसे जन्म के साथ ही प्यार क्यों नहीं कर पाते? उसके जन्म लेते ही उदासी क्यों छा जाती है? कई लोगों ने इस पोस्ट को शेयर […]
इन दिनों फेसबुक पर एक पोस्ट बार-बार आ रहा है कि हम बहन, मा, पत्नी को प्यार करते हैं, मगर बेटी के जन्म पर दुखी क्यों हो जाते हैं? उसे जन्म के साथ ही प्यार क्यों नहीं कर पाते? उसके जन्म लेते ही उदासी क्यों छा जाती है? कई लोगों ने इस पोस्ट को शेयर करने के बाद लाइक किया है. एक तरह की सामाजिक जिम्मेदारी उठाते हुए, पर जवाब किसी ने नहीं दिया है.
इस सवाल का बहुत ही आसान जवाब है, दहेज. मां अपने पिता की जिम्मेदारी थी, बहन भी अपने पिता की जिम्मेदारी होती है और पत्नी के पिता भी उसकी शादी की पूरी जिम्मेदारी उठाते हैं, पर जब वही लड़का जो अपनी मां, बहन और पत्नी से बहुत प्रेम करता है, एक बहुत अच्छा बेटा, बहन का प्यारा भाई और पत्नी प्रिय पति अपनी बेटी के जन्म पर उदास हो जाता है. बेटी के जन्म के साथ ही उसके सामने दहेज खड़ा हो जाता है.
केतकी शर्मा, जमशेदपुर